चण्डीगढ़। करनाल स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के लिए कंसल्टेंट यानि पी.एम.सी. की नियुक्ति का रास्ता अब साफ हो गया है, सम्भवत: अगले माह अगस्त तक नियुक्ति का कार्य मुकम्मल हो जाएगा और उसके बाद करनाल स्मार्ट सिटी लिमिटेड कम्पनी शहर को स्मार्ट बनाने के लिए अपना काम शुरू करेगी।
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करनाल के नगर निगम आयुक्त एवं स्मार्ट सिटी लिमिटेड के सी.ई.ओ. राजीव मेहता ने इस सम्बंध ने बताया कि गुरूवार को विकास सदन के सभागार में देश की 5 नामी कम्पनियों ने सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों की कमेटी के समक्ष टैक्नीकल बिड को लेकर अपनी-अपनी प्रेजेन्टेशन दी।
बता दें कि बीते सितम्बर में पी.एम.सी. की नियुक्ति के लिए जो टैण्डर कॉल किए गए थे, उन्हे 8 दिसंबर को खोला गया था। इसके तहत 4 कम्पनियां आई थी, जो शर्ते व मानदण्ड पूरा न कर सकने के कारण पात्र नही पाई गई थी। इसके पश्चात बीती 15 मार्च को पुन: टैण्डर किए गए और 25 अप्रैल को इसे खोला गया। इसके लिए 7 कम्पनियों ने टैण्डर भरे थे, जिनमें से 2 रिजेक्ट हुए और शेष 5 कम्पनियों ने आज विकास सदन में टैक्नीकल बिड को लेकर अपनी-अपनी प्रैजेन्टेशन दी।
प्रेजेन्टेशन देने वाली कम्पनियों में गुरूग्राम आधारित के.पी.एम.जी., फीडबैक इन्फ्रा प्राईवेट लिमिटेड, टाटा कंसल्टिंग इंजीनियर्स लिमिटेड नोएडा, दिल्ली इंटीग्रेटिड मल्टी मॉडल ट्रांजिट सिस्टम लिमिटेड तथा रोडिक शामिल थी। दूसरी ओर कमेटी में शामिल शहरी स्थानीय निकाय विभाग के प्रधान सचिव आनन्द मोहन शरण, महानिदेशक नितिन यादव, फरीदाबाद स्मार्ट सिटी लिमिटेड के प्रतिनिधि व अतिरिक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी मोनिका गुप्ता, इलैक्ट्रोनिक्स व आई.टी. डिपार्टमेंट हरियाणा के एम.डी. के प्रतिनिधि वरिष्ठ कंसल्टेंट नवदीप गुप्ता तथा उपायुक्त करनाल डॉ. आदित्य दहिया के प्रतिनिधि ए.डी.सी. निशांत यादव उपस्थित थे। इसके अतिरिक्त यू.एच.बी.वी.एन. के एस.ई. एस.के. रहेजा, जन स्वास्थ्य विभाग के एस.ई. रमेश कुमार के अतिरिक्त, एस.ई. नगर निगम महीपाल, उप निगम आयुक्त रोहताश बिशनोई, कार्यकारी अधिकारी धीरज कुमार तथा सहायक आई.टी. प्रबंधक विकास गुप्ता भी उपस्थित रहे।
प्रेजेन्टेशन के लिए प्रत्येक कम्पनी को बारी-बारी विकास सदन के अंदर बुलाकर आधे घण्टे की प्रस्तुती का समय दिया गया। सभी कम्पनियों ने तकनीकि समझ व कार्यशैली, भिन्न-भिन्न एक्सपर्ट की नियुक्ति, कमांड एंड कंट्रोल सेंटर के लिए क्या-क्या नयापन करेंगे तथा ए.बी.डी. यानि एरिया बेस्ड डव्लपमेंट के तहत क्या-क्या होगा, को लेकर प्रस्तुतीकरण दिया। इन सभी के 30 अंक निर्धारित किए गए थे।
आयुक्त ने बताया कि टैक्नीकल बिड के दो हिस्से हैं, पहला भाग डॉक्यूमेंट का हैं, जिसके 70 अंक है तथा दूसरे भाग में प्रेजेन्टेशन 30 अंक की थी, अर्थात दोनो को मिलाकर 100 अंक हो गए। उन्होने बताया कि जो कम्पनी तय किए गए अधिकतम 70 अंक प्राप्त करेगी, उसी की फाईनेंनशियल बिड खोली जाएगी, जो शीघ्र ही खोली जानी है। कम्पनियों के कार्य व कॉस्ट को ध्यान में रखकर ही स्कोरिंग फाईनल की जाएगी। उन्होने बताया कि इसके बाद जो कम्पनी फाईनल होगी, उसके साथ नैगोशेशन की जाएगी, एग्रीमेंट होगा। इस प्रक्रिया में करीब एक-डेढ महीना लग जाएगा और फिर स्मार्ट सिटी करनाल को प्रोजेक्ट कंसल्टेंट मिल जाएगा।
गौर हो कि बीती 23 जून को तीसरे राउण्ड तथा 30 शहरो वाली घोषित की गई सूची में करनाल स्मार्ट सिटी में शामिल हो गया था और सूची में यह 12वें स्थान पर था। स्मार्ट सिटी के लिए नगर निगम करनाल ने बीती जनवरी 2017 से ही तत्कालीन आयुक्त व मौजूदा उपायुक्त डॉ. आदित्य दहिया के मार्गदर्शन में अपनी तैयारियां शुरू कर दी थी। इसके लिए देश की चुनिंदा एजेण्सियों में से एक क्रिसिल की नियुक्ति की गई थी, जिसके द्वारा 3 महीने तक कार्य करने के बाद 1295.81 करोड़ रूपये के कुल खर्चे वाली एक स्मार्ट सिटी प्रोपजल (एस.सी.पी.) तैयार की गई थी। इसके पश्चात स्मार्ट सिटी के लिए बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स का गठन, सी.ई.ओ. तथा करनाल स्मार्ट सिटी लिमिटेड कम्पनी जैसी सभी प्रक्रियाएं पूरी होने के बाद पी.एम.सी. की नियुक्ति शेष थी, जिसमें अब किसी प्रकार की रूकावट नही रहेगी।
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