गफूर ने एक निजी टीवी चैनल से मुलाकात में कहा कि देश की सरकार और सेना,
दोनों एक ही पेज पर हैं और देश की तरक्की की दिशा में कार्यरत हैं। सेना
प्रमुख और प्रधानमंत्री एक-दूसरे के संपर्क में हैं क्योंकि देश की तरक्की
के लिए जरूरी है कि दोनों एक-दूसरे के संपर्क में रहें। राज्य के मामलों
में सरकार और सेना के बीच किसी तरह का मतभेद नहीं है। उन्होंने कहा कि जब
भी जरूरत पड़ती है, सेना प्रमुख और प्रधानमंत्री मिलते हैं।
यह जरूरी नहीं
है कि हर मुलाकात की जानकारी दी ही जाए। मीडिया ने शुक्रवार को मुलाकात की
रिपोर्ट यह कह कर दी कि यह दो महीने बाद हो रही है जबकि इस बीच सैन्य
प्रमुख और प्रधानमंत्री के बीच मुलाकातें भी हुईं और टेलीफोन पर भी बात
हुई। गफूर ने कहा कि सेना अपने संवैधानिक दायित्व का निर्वहन करते हुए
लोकतांत्रिक रूप से चुनी गई सरकार के समर्थन में है जोकि पाकिस्तान के
विकास के लिए बेहद जरूरी है।
(IANS)
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