नई दिल्ली। पर्यावरण की दृष्टि से बेहद संवेदनशील और पवित्र अमरनाथ गुफा पर नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) ने सफाई देते हुए कहा कि अमरनाथ को लेकर आदेश की गलत रिपोर्टंग की गई है। एनजीटी ने अपने स्पष्टीकरण में कहा है कि मंत्रोच्चारण और आरती पर किसी तरह की रोक नहीं लगाई गई है। केवल शिवलिंग के सामने ही शांति बनाए रखनी चाहिए। ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
इसके साथ ही गुफा की सीढिय़ों से पहले लोगों को अपना सामान जमा करना होगा और गुफा में प्रवेश के लिए एक लाइन में चलना होगा। एनजीटी ने साफ किया है कि उन्होंने अमरनाथ गुफा को साइलेंट जोन घोषित नहीं किया है। बस तीर्थ यात्रियों की सुरक्षा और आराम के लिए कुछ निर्देश दिए गए हैं।
आपको बता दें कि बुधवार को एनजीटी की ओर से निर्देश जारी किए जाने के बाद विश्व हिंदू परिषद ने इसे हिंदुओं का अपमान बताया था। साथ ही एनजीटी से अपने आदेश को वापस लेने की मांग की थी। बता दें कि अमरनाथ यात्रा के दौरान भक्त भगवान शिव के जयकारे लगाते हुए जाते हैं। साथ ही कई जगहों पर घंटियां भी बजाते हैं। लैंड स्लाइड (पत्थर गिरने) की घटनाओं पर रोक लगाने के लिए एनजीटी ने यह कदम उठाया गया है। यही नहीं आदेश में यात्रियों के मोबाइल फोन पर भी बैन लगाने की बात कही गई है। वहीं एनजीटी ने यह फैसला सुनाते हुए कहा कि कुछ मंदिरों में बात करने की मनाही है और वहां पर साइलेंस जोन है, जैसे बहाई मंदिर, तिरुपति और अक्षरधाम में।
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