मुंबई। शाहरुख खान और काजोल स्टारर फिल्म 'दिलवाले दुल्हनिया ले जाएंगे' 20 अक्टूबर को हिंदी सिनेमा में 25 साल पूरे करने के लिए तैयार है। अभिनेता उदय चोपड़ा ने इस फिल्म के सेट पर बतौर सहायक काम किया था। उन्होंने याद करते हुए बताया कि कैसे फिल्म ने बॉलीवुड में बिहाइंड द सीन (बीटीएस) वीडियो का चलन शुरू किया। डीडीएलजे उदय के बड़े भाई आदित्य चोपड़ा के निर्देशन में बनी पहली फिल्म है। आदित्य को बॉलीवुड जगत में आदित्य के नाम से जाना जाता है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
उदय ने कहा, "आदि 'डीडीएलजे' से कुछ ऐसा करना चाहते थे जो भारत में पहले किसी ने नहीं किया था। उन्होंने मुझे 'मेकिंग' के निर्देशन का प्रभार दिया और हालांकि यह पहले नहीं किया गया था, इसलिए मुझे इसे लेकर बहुत सारी चीजों का आविष्कार करना पड़ा। कैलिफोर्निया में फिल्म स्कूल से वापस आने के बाद मैंने तय किया कि फिल्म निर्माण के एक अन्य पहलू पर अपना हाथ आजमाने का यह एक शानदार अवसर होगा।"
उन्होंने आगे कहा, "पहली चीज जो हमें चाहिए थी वह सेट और बैक पर बहुत सारे फुटेज की थी और इसके लिए एस-वीएचएस एकमात्र विकल्प था। इसलिए, सेट पर एक सहायक होने के अलावा मैं बीटीएस फुटेज का वीडियोग्राफर भी बन गया।"
उदय ने आगे कहा, "मैं सेट पर हर ओर नजर रखता था। इसका यह फायदा हुआ, जो मुझे बाद में पता चला कि सभी कलाकार मेरे होने से वहां बहुत सहज थे। इससे कुछ वास्तविक और दिलचस्प शॉट्स बने, जिसने बीटीएस फुटेज को जबरदस्त रूप से शानदार बना दिया।"
उदय ने कहा, "डीडीएलजे एक ऐसी फिल्म थी, जिसने एक चलन शुरू किया था जिसे अब लोकप्रिय रूप से बीटीएस या बिहाइंड द सीन्स कहा जाता है। हमने इसे बस 'द मेकिंग' नाम दिया था।" (आईएएनएस)
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