नई दिल्ली। एक थी निर्भया, जिसके चार कातिलों को मौत की सजा देने के लिए तिहाड़ जेल में दो कुएं और दो तख्त तैयार किए गए हैं। जेल के फांसीघर में एक कुआं और एक तख्त पहले से मौजूद था, अब और एक तख्त व एक कुआं रातों-रात तैयार किए गए हैं। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
तिहाड़ जेल महानिदेशालय के एक आला अधिकारी ने बुधवार शाम इसकी पुष्टि की। अधिकारी ने कहा, "दरअसल, चारों मुजरिमों को एक ही वक्त फांसी दिए जाने का अदालती हुक्म जारी हुआ है। तिहाड़ जेल के कई दशक पुराने फांसीघर में एक साथ दो मुजरिमों को ही टांगने का इंतजाम था। अब तक के इतिहास में यह पहला मौका आया है, जब देश में किसी अपराध को लेकर एक साथ चार कातिलों को एक साथ सजा-ए-मौत मिलेगी। लिहाजा, फांसी-घर में पहले से मौजूद पुराने तख्त और कुएं के बराबर में ही एक नया तख्त-तहखाना (फांसी तख्ता और कुआं) तैयार कर लिया गया है।"
उन्होंने बताया कि यह सब दिल्ली राज्य लोक निर्माण विभाग ने तिहाड़ जेल प्रशासन के सहयोग से किया है।
तिहाड़ जेल महानिदेशालय के आला अफसर ने आगे कहा, "चारों मुजरिमों को फांसी देने की प्रक्रिया में दिल्ली जेल मैनुअल का ध्यान रखा जाएगा। तैयारियां शुरू कर दी गई हैं। जहां तक मीडिया में चार-चार कुएं या फांसी-तख्त बनाए जाने की खबरें आ रही हैं, वे सब बे-बुनियाद हैं।"
तिहाड़ जेल के एक अन्य अधिकारी के मुताबिक, फांसीघर में पहले से मौजूद प्लेटफॉर्म (तख्त) और तहखाने में चूंकि दो मुजरिमों को ही एक साथ लटकाया जाना संभव था, इसलिए उस पुराने वाले तख्त-तहखाने के बराबर में एक और नया तख्त (प्लेटफार्म) और तहखाना बनवा दिया गया है। साथ ही फांसीघर की साफ-सफाई भी कराई गई है।
उन्होंने बताया कि जेल के फांसीघर की सुरक्षा भी एहतियातन बढ़ा दी गई है। हालांकि फांसीघर से जेल के किसी कर्मचारी का रोजमर्रा की जिंदगी में कोई वास्ता नहीं होता। अब, जब चार मुजरिमों को एक साथ फांसी देने का आदेश हुआ है, तो फांसीघर की सुरक्षा में तमिलनाडु स्पेशल पुलिस के हथियारबंद जवान दिन-रात वहां तैनात किए गए हैं।
--आईएएनएस
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