चंडीगढ़। काम के बोझ व सरकारी नीतियों से
परेसान डॉक्टर ने प्रदेश सरकार के अफ्सरसाही पर उठाये सवाल ,उनका कहना है
कि डॉक्टरों की भारी कमी के चलते हरियाणा में स्वास्थ्य सेवाओं का भट्टा
बैठ गया है। हरियाणा के मुख्यमंत्री और स्वास्थ्य मंत्री की तारीफ़ करते
हुए उन्होंने आईएएस लॉबी पर गंभीर आरोप लगाये । उनका कहना है कि अगर सरकार
ने कोई कदम नहीं उठाये तो 11 सितंबर को करनाल में राज्य के सभी सरकारी
डॉक्टर इकट्ठे होकर आगे की रणनीति बनायेगे ,और मुख्यमंत्री को ज्ञापन
सौपेंगे ।
हरियाणा के
सरकारी डॉक्टर्स ने आज चंडीगढ़ में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर आरोपी लगाया कि
राज्य में स्वास्थ्य सुविधाओं का भठ्ठा बैठ गया है । उनका कहना था कि
हरियाणा में डॉक्टरों की भारी कमी है । डॉक्टरों का आरोप है कि राज्य सरकार
डॉक्टरों की भर्ती के लिए कोई पॉलिसी नहीं बना रही है । इसी कारण डॉक्टर
भर्ती नहीं हो रहे है I उनका यह भी आरोप है कि राज्य सरकार वेतन के नाम
पर मात्र 60 हजार दे रहे है । भत्तों में सरकार कुछ नहीं दे रही , तभी आज
के हालात यह है की आज पी एच सी में एक भी डॉक्टर नहीं है जबकि 85
प्रतिशत आबादी गांव में बस्ती है । उन्होंने यह भी कहा कि 1 पी एच सी में 5
से 6 गांव आते है । डॉक्टर्स का कहना था कि डॉक्टर की भारी कमी है पर
सरकार ध्यान नहीं दे रही और मौजूदा डॉक्टर पर वर्क लोड बढ़ा रही है ।
दो हजार डाॅक्टर्स ने नौकरी छोडी
उन्होंने
आंकड़े पेश करते हुए कहा कि 23 जिलो में 23 स्पेस्लिस्ट डॉक्टर भी नहीं है । 3500 डॉक्टर में से 2000 से भी अधिक नॉकरी छोड़ चुके
है ,या लंबी छुट्टी पर चल रहे है I और इसका खामियाजा पुराने डॉक्टर भुगत
रहे है है I उन्होंने बतायाकि आज मुख्यमंत्री ,और स्वास्थ्य मंत्री उनकी
मांगें मान लेते है , पर आईएएस लॉबी उनकी फाइल पर 30 से 35 ऑब्जेक्शन लगा
कर काम ठप्प करने में लगी है , जिसे बिलकुल बर्दाश्त नहीं करेंगे । अगर
जरूरत पड़ी तो वह कड़े कदम भी उठा सकते है । उनका यह भी कहना था कि आने वाली
11 तारीख को प्रदेश भर के सरकारी डॉक्टर करनाल में मीटिंग कर अगली रणनीति
बनाएंगे तथा मुख्यमंत्री को ज्ञापन भी सौपेंगे ।