मुंबई। अमेरिकी एयरपोर्ट पर बॉलिवुड अभिनेता शाहरुख खान को रोके जाने के मामले में शिवसेना ने नसीहत देते हुए पूछा है कि जब बार-बार रोका जाता है, तो फिर क्यों जाते हो। साथ ही शिवसेना ने कहा कि अपमान होने पर शाहरुख को वापस भारत लौटना चाहिए था, अगर वह ऐसा करते तो यह अमेरिका के मुंह पर तमाचा होता।
शिवसेना ने अपने मुखपत्र सामना में कहा, अमेरिका के अधिकतर बड़े एयरपोर्ट्स पर शाहरुख के साथ ऐसा होना आम बात है। फिर भी यह सहिष्णु अभिनेता बार-बार अमेरिका जाते हैं... सिर्फ अपमान करवाने के लिए।
शिवसेना ने कहा, उन्हें स्वाभिमानी रख दिखाते हुए लौट आना चाहिए
था और अमेरिका को बताना चाहिए था कि यदि तुम इस तरह से मेरा अपमान करने
वाले हो तो मैं तुम्हारे देश में कदम नहीं रखूंगा। शिवसेना ने कहा,
उन्होंने ऐसा किया होता तो यह अमेरिका के मुंह पर तमाचा होता। अमेरिका हर
मुस्लिम को एक आतंकवादी के तौर पर देखता है। शिवसेना ने कहा, बॉलिवुड के
खानों को कश्मीर में गुमराह होकर उपद्रव मचा रहे युवाओं को ट्विटर के जरिए
सही दिशा दिखानी चाहिए। संपादकीय में बीते नवंबर की उस घटना का भी हवाला
दिया गया, जिसमें आमिर खान ने कहा था कि उनकी पत्नी किरण राव असुरक्षा के
माहौल में अपने बच्चे की सुरक्षा को लेकर डरी हुई हैं और वह इस बात पर
विचार कर रही हैं कि क्या उन्हें भारत से बाहर चले जाना चाहिए। यह उस समय
की बात है, जब भारत में बढ़ती असहिष्णुता पर भारी बहस छिड़ी हुई थी। उस
दौरान असहिष्णुता के विरोध में कई कलाकारों और लेखकों ने सरकारी पुरस्कार
लौटा दिए थे।
गौरतलब है कि शाहरुख को शुक्रवार को लॉस ऐंजिलिस
इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर कुछ समय के लिए रोका गया था। इसके बाद शाहरुख ने
ट्वीट किया था, दुनिया के हालातों के मद्देनजर मैं सुरक्षा को पूरी तरह
समझता हूं और उसका सम्मान करता हूं। लेकिन अमेरिकी आव्रजन द्वारा बार-बार
रोका जाना बहुत परेशान करने वाला है। हालांकि, यूएस ने इसके लिए माफी भी
मांगी थी। आपको बता दें कि शाहरुख को अप्रैल 2012 में न्यूयॉर्क, 2009
में न्यू जर्सी के नेवार्क हवाईअड्डे भी रोका गया था।