ई-रवन्ना का औसत स्तर बढ़कर करीब 26500 प्रतिदिन हुआ

www.khaskhabar.com | Published : शुक्रवार, 31 जुलाई 2020, 5:45 PM (IST)

जयपुर। प्रदेश के अतिरिक्त मुख्य सचिव खान एवं पेट्रोलियम डाॅ. सुबोध अग्रवाल ने बताया है कि लाॅकडाउन के बाद प्रदेश में करीब 94 फीसदी खनन गतिविधियां दोबार आरंभ हो गई है। उन्होंने बताया कि कोरोना महामारी के कारण लाॅकडाउन जैसी प्रतिकूल परिस्थितियों के बावजूद जून माह में खनिज क्षेत्र में गत साल की इसी अवधि की तुलना में अधिक राजस्व अर्जित किया है।
एसीएस डाॅ. सुबोध अग्रवाल ने मुख्य सचिव राजीव स्वरुप द्वारा गुरुवार को सचिवालय में आयोजित राज्य स्तरीय विकास एवं समन्वय समिति की बैठक में दिए गए दिशा निर्देशों के क्रम में शुक्रवार को सचिवालय में निदेशक खनिज एवं प्रेट्रोलियम कुंज बिहारी पाण्ड्या व अधिकारियों के साथ विभागीय गतिविधियों की विस्तृत समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने प्रदेश में 94 फीसदी खनन गतिविधियां आरंभ होने पर संतोष व्यक्त करते हुए खनन गतिविधियों को शतप्रतिशत स्तर पर लाने के निर्देश दिए।

डाॅ. अग्रवाल ने बताया कि राज्य में लाॅकडाउन के कारण 1 अप्रेल को खनन गतिविधियां लगभग बंद हो गई थी व ई-रवन्ना की संख्या 130 के स्तर पर आ गई थी जो आज ओसतन लगभग 26 हजार 500 प्रतिदिन आ गई है। उन्होंने बताया कि राजस्थान देष का प्रमुख खनिज बहुल प्रदेश है और राज्य में लेड जिंक, राॅक फास्फेट, आयरन ओर, काॅपर, सिल्वर, लाइम स्टोन आदि के साथ ही सेंड स्टोन, मार्बल, ग्रेनाइट, मैसेनरी स्टोन, सोप स्टोन, फेल्सपार आदि की खनन गतिविधियां संचालित हो रही है।


एसीएस डाॅ. अग्रवाल ने बताया कि राज्य में करीब 15 हजार खनन लीज जारी है। कोरोना महामारी के कारण उत्पन्न परिस्थितियों के बावजूद खनन गतिविधियों को पटरी पर लाने के समन्वित व सकारात्मक प्रयासों का ही परिणाम है कि प्रदेश में अधिकांश स्थानों पर कार्य आरंभ होने से 94 फीसदी खनन गतिविधियां पुनः आरंभ हो गई है, इस क्षेत्र से जुड़े श्रमिकों को रोजगार मिलना आरंभ हो गया है और राज्य सरकार को राजस्व प्राप्ति में भी सकारात्मक परिणाम प्राप्त होने लगे हैं। उन्होंने बताया कि कोविड-19 को देखते हुए खनन गतिविधियों में भी केन्द्र व राज्य सरकार द्वारा जारी हेल्थ प्रोटोकाल व एडवाइजरी की पालना सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं।
डाॅ. अग्रवाल ने बताया कि खनन पट्टों के आवंटन में रिजर्व प्राइस और आवंटन व्यवस्था को पारदर्शी व युक्ति संगत बनाया जा रहा है।

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