मंत्री अनूप धानक विवादों के घेरे में

www.khaskhabar.com | Published : मंगलवार, 10 दिसम्बर 2019, 5:23 PM (IST)

निशा शर्मा
चंडीगढ़।
हरियाणा में रोहतक के सर्किट हाउस में रात के समय राज्य मंत्री अनूप धानक के समर्थकों की तरफ से सुप्रीम कोर्ट की एक महिला वकील के कमरे का दरवाजा खटखटाने का मामला टूल पकड़ता जा रहा है। इस मामले में महिला वकील ने पुलिस को दी अपनी शिकायत में कहा है कि कुछ लोगों ने रात के समय उनके कमरे का दरवाजा तोड़ने की कोशिश की। पुलिस ने एफआईआर दर्ज करने के बजाए अभी डीडीआर दर्ज की है। उधर, संग्रहालय विभाग के राज्य मंत्री अनूप धानक ने इस मामले में सफाई दी है कि उनके स्टाफ के लोगों ने मेरा कमरा समझ कर रात के समय गलती से महिला वकील का दरवाजा खटखटा दिया था।
सुप्रीम कोर्ट की यह महिला वकील एफआईआर की कॉपी मिलने के इन्तजार में सारे दिन सर्किट हाउस में बैठी रही, लेकिन पुलिस ने उसे डीडीआर दर्ज करने की रसीद थमा दी। चौधरी ने इस पर अपनी प्रतिक्रिया में कहा है कि 'अगर मेरे साथ सरकार के मंत्री, सरकारी अफसरों और पुलिस प्रशासन का ऐसा रवैया है तो सहज ही अंदाज लगाया जा सकता है कि आम महिलाओं के साथ इनका बर्ताव कैसा होता होगा और वे कितना सहन करती होंगी।' उन्होंने कहा कि वे पिछले 20 घंटे से केस दर्ज करवाने की कोशिश करती रही हैं, लेकिन ऐसा करने के बजाए मुझ से सर्किट हाउस का कमरा खाली करवा कर वहां से जाने के लिए कह दिया गया है। चौधरी का दावा है कि इस मामले में समझौते के लिए उनके पास दिन भर फोन आते रहे हैं। चौधरी ने कहा कि इस मामले को महिला वकील से जोड़ कर नहीं, बल्कि महिला सुरक्षा के नजरिए से देखा जाना चाहिए।
राज्य मंत्री ने इस मामले में सफाई देते हुए कहा है कि मेरे स्टाफ ने गलती से महिला वकील के कमरे का दरवाजा खटखटा दिया था। मैं अपने कमरे में चला गया था और स्टाफ के लोग मुझे कुछ सामान देने आए थे, लेकिन उन्हें मेरे कमरे की जानकारी नहीं थी। मेरे कार्यकर्ताओं पर दरवाजा तोड़ने की कोशिश के आरोप सही नहीं हैं। मैंने महिला वकील से इस मुद्दे पर बात की थी और उन्हें बता दिया था कि दरवाजा खटखटाने वाला कोई गरीब आदमी होगा, उसकी जगह मैं माफ़ी मांग लेता हूं।
इस बीच इंडियन नेशनल लोकदल (इनेलो) ने राज्य मंत्री अनूप धानक से इस्तीफे की मांग की है। इनेलो के प्रदेश अध्यक्ष बीरबल दास ढालिया ने यहां जारी एक बयान में कहा है कि एक तरफ तो भाजपा सरकार 'बेटी बचाओ- बेटी पढ़ाओ' का नारा देती है, लेकिन दूसरी तरफ सुप्रीम कोर्ट की महिला वकील की शिकायत पर एफआईआर दर्ज नहीं कर उसे परेशान किया जा रहा है। सब को न्याय दिलाने का वादा करने वाले गृह मंत्री अनिल विज ने भी अब इस मामले में किसी कार्रवाई के आदेश देने के बजाए चुप्पी साध ली है। उन्होंने कहा कि विज को बिना और देर किए फ़ौरन कार्रवाई के आदेश देने चाहिए।

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