FATF की ग्रे सूची में फरवरी 2020 के बाद भी बना रह सकता है पाकिस्तान

www.khaskhabar.com | Published : शुक्रवार, 08 नवम्बर 2019, 8:36 PM (IST)

इस्लामाबाद। पाकिस्तान फरवरी 2020 से आगे भी फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स (एफएटीएफ) की ग्रे सूची में बना रह सकता है। वरिष्ठ अधिकारियों के अनुसार पाकिस्तान मुख्य रूप से अपनी जोखिम प्रोफाइल और एक ही समय में दो मूल्यांकनों के मद्देनजर अपनी स्थिति में सुधार करने में विफल रह सकता है। आतंक वित्तपोषण और धनशोधन पर रोक में नाकाम रहने के कारण पाकिस्तान एफएटीएफ की ग्रे लिस्ट में है।

डॉन न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार अधिकारियों ने गुरुवार को एक संसदीय पैनल को यह जानकारी दी। इसमें कहा गया है कि सरकार ने सूचना विनिमय व्यवस्था के तहत अंतर्राष्ट्रीय समुदाय द्वारा बताई गई पाकिस्तान की 7.4 अरब डॉलर की विदेशी संपत्ति पर करों में लगभग 3.5 करोड़ डॉलर ही वसूल किए हैं।

आर्थिक मामलों के मंत्री हम्माद अजहर ने गुरुवार को राष्ट्रीय असेंबली की वित्त और राजस्व संबंधी स्थायी समिति की बैठक में कहा, पाकिस्तान अपनी जोखिम प्रोफाइल के कारण कई अन्य देशों की तुलना में अधिक चुनौतियों का सामना कर रहा है। उन्होंने कहा कि कुछ देशों को केवल 80 फीसदी अनुपालन के बाद ग्रे सूची से हटा दिया गया है, जबकि पाकिस्तान पर कार्रवाई योजना के साथ 100 फीसदी अनुपालन सुनिश्चित करने के लिए दबाव डाला जा रहा है।

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उन्होंने कहा, पाकिस्तान को बहुत अधिक अपेक्षा के साथ देखा जा रहा है। इसकी खास राजनीतिक वजह भी है। मंत्री ने कहा कि इसे इसी से समझा जा सकता है कि अफगानिस्तान एफएटीएफ की ग्रे सूची में नहीं है। मंत्री ने कहा कि पाकिस्तान एफएटीएफ के लक्ष्यों को पूरा करने के लिए समय पर कदम उठा रहा है, क्योंकि वह एक्शन प्लान में 27 में से 22 बिंदुओं पर आंशिक रूप से अनुपालन कर रहा है।

उन्होंने माना कि देश अंतर्राष्ट्रीय सहयोग समीक्षा समूह (आईसीआरजी) के पांच लक्ष्यों की अनुपालन नहीं कर रहा है। पाकिस्तान सात दिसंबर तक एशिया-प्रशांत समूह (एपीजी) को अपनी कार्ययोजना पर अपनी अगली रिपोर्ट प्रस्तुत करेगा। इसके बाद एपीजी 17 दिसंबर तक अपने सवालों और प्रतिक्रिया के साथ रिपोर्ट वापस कर देगा। डॉन न्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक, इस्लामाबाद को सात जनवरी 2020 तक इन टिप्पणियों का जवाब देना होगा।

(IANS)