प्रयागराज। उत्तर प्रदेश के प्रयागराज (Prayagraj)में अपने पसंद के लड़के से शादी करने पर लडकी के पिता ने उसे मौत की नींद सुला दिया। एक बेटी को ऑनर किलिंग (honor killing)का शिकार होना पड़ा। उसका कसूर यह था कि उसने अपने घरवालों की मर्जी के खिलाफ अपने पसंद के लडके से शादी की थी। बेटी की हत्या के मामले में पिता जेल में चला गया है, जबकि घर में मौजूद मां व छोटा भाई ज़िंदगी खत्म होने के बाद भी इस बेटी को ही जिम्मेदार ठहरा रहे हैं।
प्रयागराज के नुमाया डाही गांव (Numaya Dahi village )की रहने वाली मीनाक्षी चौरसिया अब इस दुनिया में नहीं रही। मुम्बई के घाट कोपर इलाके में तीन दिन पहले चाकुओं से ताबड़तोड़ हमले कर उसे मौत के घाट उतार दिया गया। मुंबई पुलिस ने गर्भवती मीनाक्षी के क़त्ल का खुलासा करते हुए इसे आनर किलिंग का मामला बताया।
पुलिस ने बताया कि मीनाक्षी अपने पड़ोस में रहने वाले बृजेश नाम के युवक से प्रेम करती थी। दोनों एक ही जाति के थे, लेकिन इसके बाद भी मीनाक्षी के परिवार वाले उसकी शादी बृजेश से करने को तैयार नहीं थे।
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मीनाक्षी ने इसका विरोध किया तो परिवार वालों ने उससे दोगुनी उम्र से बड़े
युवक से ब्याह तय कर दिया गया। इसी वर्ष नौ मार्च को मीनाक्षी की शादी तय
कर दी गई, लेकिन शादी से सिर्फ दो सप्ताह पहले मीनाक्षी अपने प्यार को पाने
के लिए घर छोड़कर बृजेश के साथ चली गई।
दोनों मध्य प्रदेश के सतना
में शादी कर ली और कुछ दिनों बाद मुम्बई के घाट कोपर इलाके में जाकर रहने
लगे। बृजेश के घर वाले तो मीनाक्षी को बहू मान बैठे। मीनाक्षी के पिता
राजकुमार व परिवार के दूसरे लोग बेटी के फैसले को मंजूर करने के बजाय इसे
अपनी इज़्ज़त से जोड़ बैठे और झूठी शान की खातिर उसे मौत के घाट उतारने की
साजिश को अंजाम दिया। मीनाक्षी ने कई बार अपने पिता-मां को फोन कर अपनाने
की गुहार लगाई, लेकिन परिवार वालों का दिल नहीं पसीजा।
इस बीच
मीनाक्षी के पिता राजकुमार बेटों के साथ मुम्बई चला गया। यहां उसने
मीनाक्षी को फोन कर उसे अपनाने की बात कहते हुए आशीर्वाद देने की इच्छा
जताई। मासूम मीनाक्षी पिता के इस धोखे को समझ नहीं सकी और पति बृजेश का
इंतजार किए बिना ही पिता से मिलने चली गई। करीब पांच महीने बाद पिता को
देखकर मीनाक्षी काफी भावुक हो गई, वह आशीर्वाद लेने के लिए जैसे ही पिता
राजकुमार के पैरों की तरफ झुकी, उसने चाकुओं से ताबड़तोड़ हमला कर उसे मौत के
घाट उतार दिया।
इस वारदात को 14 जुलाई को अंजाम दिया गया। मीनाक्षी के
क़त्ल और पिता राजकुमार के जेल जाने के बाद से प्रयागराज में उनके गांव
नुमाया डाही में मातम पसरा हुआ है।
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