नई दिल्ली। भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने कहा है कि देश से एक-एक घुसपैठिए को बाहर निकालेंगे, मगर हिंदू और बौद्ध शरणार्थियों को ढूंढ-ढूंढकर नागरिकता देंगे। इस बयान काे लेकर राजनीति गरमा गई है। कांग्रेस ने कहा कि उनकी पुरानी नीति रही है चुनाव को सांप्रदायिक रंग देना।
बीजेपी अध्यक्ष शाह ने दार्जिलिंग के कलिम्पोंग में कहा कि एक-एक घुसपैठिये को निकाल बाहर करने के लिए देश भर में एनआरसी लाना हमारी प्रतिबद्धता रहेगी। ममता बनर्जी की तरह हम घुसपैठियों को अपना वोट बैंक नहीं समझते। हमारे लिए राष्ट्रीय सुरक्षा सर्वोच्च है। हम सुनिश्चित करेंगे कि हर एक हिंदू, बौद्ध और सिख शरणार्थी को इस देश की नागरिकता मिलने में परेशानी नहीं हो।
शाह ने कहा कि अवैध प्रवासी दीमक की तरह हैं, वे गरीबों को मिलने वाले अनाज खा रहे हैं, वे हमारी नौकरियां छीन रहे हैं। टीएमसी के ‘टी’ का मतलब तुष्टीकरण, एम का मतलब ‘माफिया’ और ‘सी’ का मतलब ‘चिटफंड’ है। पश्चिम बंगाल में चुनाव प्रचार के दौरान विवादास्पद नागरिकता (संशोधन) विधेयक और राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) का मुद्दा उठाने राजनीति में गरमी ला दी है।
ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे