नई दिल्ली। आयरलैंड और इंग्लैंड दौरे पर रवाना होने से पहले भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान विराट कोहली ने कहा कि उनकी टीम दक्षिण अफ्रीका दौरे के बाद से मुश्किल से मुश्किल क्रिकेट खेलने को तैयार है। उन्होंने कहा कि हम इंग्लैंड में जीतना चाहते हैं। भारत को इस वर्ष तीन जुलाई से इंग्लैंड में तीन टी20 और तीन वनडे मैच खेलने हैं। साथ ही अगस्त-सिंतबर में पांच टेस्ट मैचों की सीरीज भी खेलनी है।
हालांकि टीम इससे पहले आयरलैंड के साथ डबलिन में 27 और 29 जून को दो मैचों की टी20 सीरीज खेलेगी। कोहली ने यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा, दक्षिण अफ्रीकी दौरे के बाद से हमारी टीम बहुत मुश्किल से मुश्किल टेस्ट क्रिकेट खेलने को तैयार है। मुझे लगता है कि ये टीम के लिए बेहद अच्छी बात है। हम इंग्लैंड में जीतना चाहते हैं और टीम इस दौरे को लेकर उत्साहित है। वनडे और टी20 में भी हम मुश्किल क्रिकेट खेलने को तैयार हैं।
यह भारतीय क्रिकेट के लिए अच्छा समय है। उन्होंने कहा, जब हम दक्षिण अफ्रीका में कुछ टेस्ट मैच हार गए थे हमें कमजोर बता दिया गया था। इसके बाद हमने तीसरा टेस्ट मैच और फिर वनडे तथा टी20 सीरीज जीती। तब लोगों ने समझा कि हम कितना अच्छा खेले।
हम एक टीम के तौर पर जानते हैं कि हमें अच्छा खेलना है। इसी कारण वनडे और टी20 में हमें सफलता मिली। बाहर के लोगों को शायद पता न चले कि हम एक टेस्ट मैच में कितनी छोटी-छोटी चीजों से गुजरते हैं। हम ऐसी टीम हैं जो विदेशी दौरों पर ज्यादा से ज्यादा जाना चाहते हैं। यह टीम के बारे में बहुत कुछ बताता है।
ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
कोहली के साथ मौजूद भारतीय टीम के मुख्य कोच रवि शास्त्री ने भी कोहली की
बात का समर्थन किया। शास्त्री ने साथ ही कहा कि दौरे की शुरुआत टी20 और
वनडे सीरीज से करने से टीम को फायदा होगा क्योंकि टेस्ट तक टीम इंग्लैंड के
हालात से अच्छी तरह वाकिफ हो जाएगी। शास्त्री ने कहा, तैयारियों के लिहाज
से टी20 और वनडे की शुरुआत करना अच्छा है। टीम पहले टी20 खेलेगी, फिर वनडे
और फिर टेस्ट। आयरलैंड के खिलाफ पहला मैच 27 जून को है और इंग्लैंड के
खिलाफ पहला टेस्ट एक अगस्त को।
इस दौरान टीम को हालात के साथ ढलने के लिए
समय मिलेगा। कोहली ने माना कि इंग्लिश काउंटी सरे के साथ खेलना उनके लिए
फायदे का सौदा हो सकता था, लेकिन जो हुआ उसे वह अच्छा मानते हैं। उन्होंने
कहा, जो हुआ वह मेरे लिए सबसे अच्छी चीज थी। हां मैं वहां जाकर अनुभव
प्राप्त करना चाहता था। वह ऐसी जगह है जहां हमने ज्यादा क्रिकेट नहीं खेली
है। चार साल का अंतराल काफी होता है।
इस दौरान आप भूल जाते हैं कि पिछली
बार के हालात कैसे थे। उन्होंने कहा, मैं उन परिस्थतियों में मुश्किल दौर
चाहता था। अब हम वहां खेलने जा रहे हैं। लेकिन अब जब मैं देखता हूं तो लगता
है कि अगर मैं उस समय 90 फीसदी फिट होता और उन स्थितियों में खेलता, वहीं
अगर तुलना की जाए तो अब अगर मैं 110 फीसदी फिट होकर वहां खेलूंगा तो इसमें
अंतर होगा क्योंकि दौरे के लिए मैं पूरी तरह से तरोताजा महसूस करना चाहता
हूं।
कोहली गले में चोट के कारण सरे के लिए नहीं खेल पाए थे। भारतीय कप्तान
ने कहा कि वे अब पूरी तरह से फिट हैं। उन्होंने कहा, मैं खेलने को पूरी
तरह से तैयार हूं। मैंने फिटनेस टेस्ट भी दिया। मेरा शरीर अच्छा महसूस कर
रहा है। मैं दोबारा मैदान पर उतरने को तैयार हूं। इस तरह के ब्रेक आपको
मानसिक तौर पर तरोताजा रहने में मदद करते हैं।
ये भी पढ़ें - आपके फेवरेट क्रिकेटर और उनकी लग्जरी कारें....