नई दिल्ली। दक्षिण फिल्म जगत की कुछ डरावनी फिल्मों में काम कर चुकी अभिनेत्री तापसी पन्नू का कहना है कि हिंदी सिनेमा ने वास्तव में हॉरर शैली को ज्यादा नहीं आजमाया है।
तापसी ने फोन पर आईएएनएस को बताया, ‘‘मैंने दक्षिण में दो बेहद सफल हॉरर फिल्मों में काम किया है। मेरी दक्षिण फिल्म उद्योग में अंतिम फिल्म ‘आनंदो ब्रह्मा’ थी जो एक हॉरर फिल्म थी। यह काफी अच्छी रही और ‘कंचना 2’ ने भी वैसा ही काम किया। मुझे लगता है कि हॉरर एक शैली है, जिसे हिंदी सिनेमा ने अभी तक ज्यादा नहीं आजमाया है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘मेरे पास स्क्रिप्ट के साथ दो निर्देशक आए हैंं... जो शैली को जानना चाहते हैं ...बहुत से लोग हैं जिन्होंने अब तक एरोटिका से अलग हॉरर नहीं देखा है। यही कारण है, मुझे लगता है कि हमारे पास हॉरर जैसी चीजों के बारे में बताने के लिए विकल्प नहीं है, जो एरोटिका से एकदम अलग है।’’
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दक्षिण फिल्म उद्योग में सक्रिय रूप से काम करने के बाद, तापसी ने कहा कि
हिंदी फिल्म उद्योग के विपरीत, हॉरर दक्षिण में सबसे ज्यादा आजमाई गई शैली
रही है।
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उन्होंने कहा, ‘‘दक्षिण में हॉरर सबसे सफल शैली भी है।
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अगर
दक्षिण में मेरी खुद की हॉरर फिल्में हिंदी में बनाई जाती हैं, तो मुझे
वास्तव में उन फिल्मों में काम करना अच्छा लगेगा।’’
(आईएएनएस)
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