चंडीगढ़। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा कि हरियाणा कर्मचारी
चयन आयोग द्वारा एक परीक्षा में ब्राह्मणों पर पूछे गए एक प्रश्न पर कड़ा
संज्ञान लेते हुए न केवल परीक्षक को भविष्य में प्रश्न पत्र निर्धारित करने
के अयोग्य घोषित कर दिया है बल्कि वह सवाल भी उस परीक्षा से वापस ले लिया
गया है।
बुधवार को यहां एक पत्रकार सम्मेलन को संबोधित करते हुए मनोहर लाल
ने इस मुद्दे पर टिप्पणी करते हुए कहा कि परीक्षा में सवाल उचित नहीं था और
वह कल इस मुद्दे पर ब्राह्मण समुदाय के प्रतिनिधियों से बात करेंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने स्वयं इस मुद्दे के संबंध में
आयोग के अध्यक्ष से बात की है। अध्यक्ष ने उन्हें बताया कि परीक्षक को
भविष्य के सभी कार्यों के लिए आयोग द्वारा अयोग्य घोषित कर दिया गया है।
इसके अलावा, विवादास्पद प्रश्न भी वापस ले लिया गया है। उन्होंने कहा कि
आयोग को कोई भी प्रश्न वापस लेने का अधिकार है।
मनोहर लाल ने कहा कि तीन से चार परीक्षकों को पेपर सेट करने
की जिम्मेदारी सौंपी जाती है। उन्होंने कहा कि यही परीक्षा की शर्त होती है
कि परीक्षा में उम्मीदवार द्वारा प्रश्न पत्र खोले जाने तक प्रश्न पत्र को
पढऩे की अनुमति नहीं होती है। यदि कोई पेपर लीक में शामिल होता है, तो
उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी और परीक्षा को भी रद्द किया जाता है।
कल्पना चावला मेडिकल कॉलेज का नाम बदलने के प्रश्न के जवाब देते
में मुख्यमंत्री ने कहा कि कल्पना चावला मेडिकल कॉलेज का नाम आज भी यही है।
उन्होंने कहा कि वहां एक नई यूनिवर्सिटी बनाई गई है, उस यूनिवर्सिटी का
नाम पंडित दीन दयाल उपाध्याय मेडिकल साइंस यूनिवर्सिटी है। कुंडली-मानेसर-पलवल एक्सप्रेसवे के बारे में एक प्रश्न के जवाब
में मुख्यमंत्री ने कहा कि कुंडली-मानेसर-पलवल (केएमपी) और
कुंडली-गाजियाबाद-पलवल (केजीपी) एक्सप्रेसवे जून के अंत तक पूरा होने की
संभावना है।
विदेशी निवेशकों से राज्य में निवेश की मात्रा के बारे में पूछे
जाने पर मुख्यमंत्री ने कहा कि 21 एमओयू संयुक्त राज्य अमेरिका, कनाडा,
जापान, चीन, सिंगापुर, हांगकांग और दुबई की यात्रा के दौरान किए गए थे और
1.26 लाख करोड़ रुपये का निवेश पाइपलाइन में है। उन्होंने कहा कि 14
कंपनियों की 5134 करोड़ रुपये के निवेश की परियोजनाएं प्रगति पर हैं। इससे
लगभग 8000 लोगों को रोजगार के अवसर भी प्रदान होंगे। इसके अलावा, गुरूग्राम
में आयोजित हरियाणा ग्लोबल इनवेस्टर्स शिखर सम्मेलन 2016 के दौरान 350
एमओयू पर हस्ताक्षर किए गए थे जो क्रियान्वयन के विभिन्न चरणों में हैं।
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