नई दिल्ली। कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मंगलवार को मोदी सरकार पर
विरोध के स्वर कुचलने और अलग तरह के विचारों को दबाने के लिए राजसत्ता का
इस्तेमाल करने तथा विभाजनकारी मुद्दों को हवा देने का आरोप लगाया। साथ ही
भीड द्वारा लोगों की पीट-पीटकर हत्या किए जाने की बढती घटनाओं तथा सरकार व
उनकी विचारधारा की समानता पर चिंता जताई।
सोनिया ने पूरे देश को प्रतिगामी तथा संकीर्ण मानसिकता की विचारधारा की
बेडियों में जकडने के लिए एक व्यापक अभियान चलाने का आरोप लगाते हुए
कांग्रेस पार्टी से कहा कि वह भारत के मर्म व विचारों का संरक्षण करे।
सोनिया कांग्रेस कार्यकारिणी की बैठक को संबोधित कर रही थीं, जिस दौरान
सरकार के नोटबंदी के फैसले पर उन्होंने तथा मनमोहन सिंह ने जोरदार हमले
किए। दिन भर चली बैठक कांग्रेस के संगठनात्मक चुनाव के अलावा देश के
राजनीतिक हालात, आगामी राष्ट्रपति चुनाव, कश्मीर संकट पर चर्चा के लिए
बुलाई गई थी।
सोनिया ने कहा, विभाजनकारी मुद्दों को हवा दी जा रही है और अलग धर्म व
आस्था को मानने वालों की आजीविका व खानपान पर हमला किया जा रहा है। यह
सरकार विरोध के स्वर दबाने के लिए सत्ता का इस्तेमाल कर रही है।
कार्यसमिति की बैठक में सोनिया गांधी ने कहा कि चाहे वह राजनीतिज्ञ हों,
संस्थान, छात्र, नागरिक समाज या मीडिया हो, असहिष्णुता तथा अलग विचारों को
दबाने की घटनाएं बढी हैं, जो देश के कानून का घोर उल्लंघन है। सोनिया ने
कहा, भीड द्वारा लोगों को मौत के घाट उतारने की घटनाओं में इजाफा होना
गंभीर चिंता की बात है। इन घटनाओं को अंजाम देने वाली भीड तथा सत्ताधारी
सरकार में वैचारिक समानता है।
उन्होंने कहा कि दलित, जनजातीय समुदाय, अल्पसंख्यक तथा अन्य दबे-कुचले लोग
बुरे वक्त का सामना कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि सरकार सरकारी मशीनरी का
इस्तेमाल उससे अलग मत रखने वालों को दबाने के लिए कर रही है।
सच हुई मनमोहन की बात
सोनिया ने बैठक
में कहा कि हाल ही में आए जीडीपी आंकड़े बताते हैं कि जो भी पूर्व
प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने नोटबंदी के बारे में कहा था, वह सच साबित हुआ
है। मौजूदा सरकार के शासन में लगातार गरीब, पीडि़त, अल्पसंख्यकों के लिए
हालात खराब हुए हैं। इस सरकार के कार्यकाल में लगातार हिंसात्मक घटनाओं में
बढ़ोतरी हुई है। जम्मू-कश्मीर की मौजूदा हालत सरकार के फेलियर को दर्शाती
है।
मीडिया से बातचीत के दौरान गुलाम नबी आजाद ने मोदी सरकार पर निशाना
साधते हुए कहा कि राजग सरकार सिर्फ टीवी में हीरो दिखती है, असल में तो यह
जीरो है। उन्होंने कहा कि बैठक के दौरान कश्मीर के मुद्दे पर चर्चा हुई।
उन्होंने महिला सुरक्षा पर सवाल उठाते हुए कहा कि यह सरकार सबका साथ सबका
विकास के नारे के साथ आई थी, लेकिन अभी भी महिलाएं सुरक्षित नहीं हैं। यह
सरकार नारों की सरकार है, जो सिर्फ टीवी पर हीरो दिखती है, लेकिन असलियत
में जीरो है। आजाद ने कहा कि राजग सरकार के तीन साल पूरे हो गए हैं। यह
सरकार कितना भी खुशी मनाए या फिर 24 घंटे के लिए टेलीविजन पर विज्ञापन करे
लेकिन यह सरकार विफल रही है। आजाद ने कहा कि कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक
में कश्मीर के मुद्दे पर चर्चा हुई है।
डरकर जी रहे हैं लोग
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कांग्रेस अध्यक्ष ने आरोप लगाया कि न्यायपालिका की अहमियत को कम करने का
सुनियोजित प्रयास हो रहा है और विरोध के स्वर को दबाया जा रहा है। उन्होंने
सरकार पर भ्रष्टाचार को छिपाने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, सत्ता से
नजदीकी रखने वालों की संपत्ति व प्रभाव में पिछले तीन साल में चमत्कारिक
रूप से बढोतरी देखी गई या फिर वे कानून से बचकर देश छोडने में कामयाब रहे।
सोनिया ने कहा कि सरकार प्रतिगामी व संकीर्ण सोच को बढावा दे रही है।
आजाद ने कहा, इस सरकार के कार्यकाल मे दलित, महिलाएं और अल्पसंख्यक
समेत मीडिया भी डर का शिकार हो रहा है। पिछले तीन साल से कई लगो दबकर जी
रहे हैं। पिछले 24 घंटों से इसका नंगा नाच देख रहे हैं। आजाद ने कहा,
हजारों करोड़ का लोन लेकर एक व्यक्ति क्रिकेट मैच देख रहा है और यहां पर
मीडिया को दबाया जा रहा है। इसका एक नमूना सोमवार को देखने को मिला, जहां
हजारों करोड़ कई लोगों के पर बकाया है लेकिन एक चैनल के 50 करोड़ से सरकार
घबरा गई। उन्होंने कहा कि राजग सरकार पैसे का दुरुपयोग करके कितनी खुशियां
मनाएगी। सारे दिन टीवी पर केन्द्रीय नेता खुद को बधाई देते रहते हैं लेकिन
ये तीन साल निराशाजनक रहे। उन्होंने कहा कि पहले के रोजगार भी खत्म हो गए
और नए रोजगार पैदा नहीं हुए। किसानों की हालत चिंताजनक हो गई है।
इसरो को दी बधाई
बैठक
खत्म होने के बाद कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा कि बैठक में सबसे
पहले पार्टी की ओर से इसरो को बधाई दी गई। पिछले 60 साल में जो भी इसरो ने
काम किया है, वह बधाई के पात्र हैं। कांग्रेस सरकार ने जो सपना देखा था, वह
पूरा होता दिख रहा है।
कांग्रेस की सर्वोच्च इकाई सीडब्ल्यूसी की बैठक
सोनिया गांधी के आवास पर हुई और इसमें पार्टी उपाध्यक्ष राहुल गांधी तथा
पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह मौजूद रहे। पार्टी के वरिष्ठ नेता अहमद
पटेल, गुलाम नबी आजाद, पी चिदंबरम, अंबिका सोनी, जनार्दन द्विवेदी, अशोक
गहलोत, अविनाश पांडे, आशा कुमारी, एके एंटनी, कमलनाथ, सीपी जोशी और
सीडब्ल्यूसी के दूसरे सदस्य मौजूद रहे। इस बैठक में देश के मौजूदा राजनीतिक
हालात पर और विपक्ष को बड़े पैमाने पर एकजुट करने के मुद्दे पर चर्चा हुई।
कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी आने वाली 12 जून को बेंगलुरु में होंगे,
जहां वह नेशनल हेराल्ड को लॉन्च करेंगे।
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