इलाहाबाद। अफ्रीका से अपने बच्चे की बीमारी का इलाज कराने हिंदुस्तान
आये अफ्रीकी दंपत्ति के ट्वीटर पर गुहार के बाद विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने
मामले पर संज्ञान लिया है। मेडिकल वीजा के बजाय गलती से टूरिस्ट वीजा मिलने पर
इलाहाबाद में फंसे इस अफ्रीका दंपत्ति को अब मेडिकल वीजा सुषमा स्वराज के माध्यम
से दिलाया जायेगा। अफ्रीका के घाना देश से सेरेब्रल पाल्सी से पीड़ित 4 साल की
बच्ची का इलाज कराने के लिये अफ्रीकी दंपत्ति इलाहाबाद आया हुआ हैं। यहां
डॉक्टर ने इलाज के लिए 5 महीने का वक्त बताया, लेकिन उनको घाना के विदेश मंत्रालय
ने 6 महीने के मेडिकल वीजा की जगह 1 महीने का टूरिस्ट वीजा दे दिया था। ऐसे में
परेशान अफ्रीकी अतिथि ने विदेश मंत्री सुषमा स्वराज को ट्वीट कर मदद की गुहार
लगाई।
इसका जवाब सुषमा स्वराज ने ट्वीट कर कहा,"आप चिंता मत करो, अबीना को
मेडिकल वीजा दिया जाएगा"। सुषमा स्वराज ने मामले को लेकर विदेश मंत्रालय को
निर्देशित किया है ।
आपको बता दें कि नार्थ अफ्रीका के घाना देश के रहने वाले रिचमंड व उनकी
पत्नी फ्यूस्टीना अपनी बेटी अबीना (4) का इलाज कराने के लिए 4 दिसंबर को इलाहाबाद
आये। यहां सेरेब्रल पाल्सी के विशेषज्ञ डॉ. जेके जैन के त्रिशला
फाउंडेशन द्वारा अबीना का इलाज किया जायेगा। दंपत्ति ने डॉ.जैन से मुलाकात की
और चलने फिरने में असमर्थ बेटी के इलाज पर चर्चा हुई। डॉ. जैन ने 5 महीने का वक्त
इलाज के लिये बताया। कागजी खानापूर्ति के दौरान जब वीजा देखा तो हैरान रह गये।
अफ्रीकन दंपत्ति को घाना विदेश मंत्रालय ने गलती से मेडिकल वीजा के बजाय टूरिस्ट
वीजा दे दिया गया था और टूरिस्ट वीजा पर सिर्फ एक माह ही भारत में रहना वैध था।
अफ्रीकन दंपत्ति ने घाना के विदेश मंत्रालय, विदेश मंत्री सहित विदेश विभाग के
तमाम अधिकारियों से संपर्क साधने की कोशिश की लेकिन कोई फायदा नहीं
हुआ। आखिरकार थक हार कर भारत की विदेश मंत्री सुषमा स्वराज से मेडिकल वीजा के
लिए ट्वीट कर मदद की गुहार लगाई। विदेश मंत्री सुषमा स्वराज तत्काल एक्शन में आई
और ट्वीट के जवाब में कहा "आप चिंता मत करो, अबीना को मेडिकल वीजा दिया
जाएगा।" सुषमा स्वराज के निर्देश पर विदेश विभाग और तमाम सम्बंधित महकमे
सक्रीय हो गए और कागजी खाना पूर्ति की प्रक्रिया शुरू हो गई है।
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छलक उठा पिता का दर्द
आंखों में भरे आंसुओ और चेहरे पर उभरी बेबसी के बीच वन इंडिया की टीम से रिचमंड ने अंग्रेजी में वार्ता करते हुये कहा कि सुषमा स्वराज द्वारा मदद से अब उन्हें यकीन हो गया हैं कि उनकी प्यारी बेटी जल्द ठीक हो जाएगी। वह काफी परेशान थे क्योंकि उन्हें अपने देश से कोई मदद नहीं मिल पा रही थी। लेकिन सुषमा स्वराज ने हमरी मदद की। रिचमंड ने भारत के प्रति कृतज्ञता व्यक्त की।
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मां ने इलाज के लिये छोड़ी नौकरी
वन इंडिया टीम को सबीना की मां फ्यूस्टीना ने बताया कि सबीना बचपन से ही चलने फिरने में असमर्थ है। उसे वह बहुत प्यार करती है। इंडिया में त्रिशला फाउंडेशन से बात होने पर सबीना के ठीक होने की आश जगी तो उसने नौकरी छोड़ दी और इलाज कराने हिंदुस्तान आ गई। सुषमा स्वराज के आश्वासन के बाद रिचमंड घाना वापस लौट रहे हैं, क्योंकि किसी एक को पैसों की जरूरत पूरी करनी है। फ्यूस्टीना को पूरा भरोसा है कि उनकी बेटी यहां ठीक हो जायेगी। फ्यूस्टीना कहती हैं कि इंडिया के लिये अतिथि देवो भवः का जो मंत्र उन्होंने सुना है वह बिल्कुल सच है।
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