यहां नहीं होती रात में शादियां, वजह जानकर हो जाएंगे हैरान

www.khaskhabar.com | Published : सोमवार, 15 दिसम्बर 2014, 12:20 PM (IST)

नई दिल्ली। लोगशादियों में अपनी शान-शौकत दिखाने के लिए जमकर पैसे खर्च करते है। वहीं, दूसरी ओर गाजियाबाद जिले का गांव अटौर अपने आप में एक मिसाल कायम की है। यहां के लोग फिजूलखर्ची से बचने के लिए दिन में शादी समारोह का आयोजन करते हैं। एक और बात इस गांव में दहेज लेने की भी परंपरा नहीं है। इस गांव में
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यह परंपरा 20 साल से कायम है। यहां दिन में ही शादी की सभी रस्म पूरी की जाती है। गांव वाले रात के समय होने वाली शादियों में सजावट आदि को फिजूलखर्ची मानते हैं। इसलिए सबने तय कर रखा है कि रात के समय लाइट, जेनरेटर आदि पर कोई पैसा खर्च नहीं करेंगे। यहां की शादियों में सुबह 10 बजे के करीब बारात आती है और

शाम होते-होते दुल्हन विदा हो जाती है। इस परंपरा से इस गांव के लोग अब तक लाखों रूपए की बचत कर चुके हैं। गांव के बुजुर्ग वेदपाल ने बताया, 20 साल पहले तक अटौर में भी रात में शादियां होती थी, लेकिन गांव में बिजली नहीं होने के चलते जेनरेटर का खर्च काफी होता था। साथ ही इसके धुंए और तेज आवाज से भी लोगों को मुश्किल होती थी। तब निर्णय लिया गया कि अब गांव में हर शादी दिन में ही होगी। दिन में शादियां होने के कारण रात में बरातियों के रूकने का इंतजाम नहीं करना पडता है। इसके अलावा शराब पीकर हुडदंग करने वाले बरातियों से निजात मिली रहती है।