इससे पूर्व देश के सबसे बड़े सियासी कुनबे में उस वक्त टूट के आसार बढ़ गए जब अखिलेश यादव ने अपने चाचा व सूबे की सरकार में कद्दावर मंत्री शिवपाल के दो नजदीकी मंत्रियों गायत्री प्रसाद प्रजापति व राजकिशोर को न केवल मंत्री मण्डल से बाहर का रास्ता दिखा दिया था, बल्कि शिवपाल से सिंचाई व लोक निर्माण जैसे महत्त्वपूर्ण विभाग भी छीन लिए। अखिलेश इतने भर से ही संतुष्ट नही हुए बल्कि शिवपाल यादव के करीबी आईएएस दीपक सिंघल को प्रदेश के मुख्य सचिव के पद से चलता कर राहुल भटनागर को ये कुर्सी सौंप दी।
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