कोपर्डी बलात्कार की घटना के बाद मराठा समाज के लोगों ने इस तरह का मूक क्रांति मोर्चा शुरू किया था। पूरी तरह से सोशल मीडिया के माध्यम से चलने जाने वाले इस आंदोलन में न तो कोई नारेबाजी होती है और न ही मंच लगाया जाता है। भाषण भी नहीं दिए जाते, यहां तक कि बैनर पोस्टर भी किसी को लाने की अनुमति नहीं है। आयोजक जिसे जो देते हैं आंदोलनकारी वही लेकर चलते हैं। लोग बड़े ही अनुशासित तरीके से कतारबद्ध होकर चलते हैं। अंत में पहले से तय कुछ चुनिंदा लोग जिला कलेक्टर को ज्ञापन देते हैं और सभी अपने-अपने घर चले जाते हैं।
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