गुरूग्राम । प्रदेश के सरकारी स्कूलों में नेशनल स्किल क्वालिफिकेशन फ्रेमवर्क (एनएसक्यूएफ) के तहत शिक्षा विभाग ने पढ़ाई-लिखाई के साथ-साथ रोजगार 9वीं से 12वीं कक्षा तक चार वर्षीय कोर्स शुरू किए हुए हैं। ताकि स्कूल-कालेज की पढ़ाई पूरी करने के उपरांत युवाओं को नौकरी की तलाश में भटकना पड़ता है। इसी तथ्य को ध्यान में रखते हुए शैक्षणिक सत्र 2017-18 में नए सात कोर्स शुरू करने की प्लानिंग की जा रही है, ताकि 12वीं पास करते ही युवाओं को नौकरी मिल सके या फिर वे कमाई का साधन ढूंढ़ सकें। वहीं शिक्षा विभाग की ओर से यह कोर्स बेरोजगारी पर काबू पाने के लिए शुरू किए है। लेकिन स्किल डवलपमेंट का कोर्स करने के बाद युवा सीखे हुनर काम करके पैसा कमा सकेंगे। अभी फिलहाल प्रदेश के विभिन्न जिलों के 990 स्कूलों में 14 कोर्स कराए जा रहे हैं। [@ वर्ष 2016 की वे खबरें जो बनी पूरे विश्व में चर्चा का विषय ]
राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान (आरएमएसए) की ओर से सभी जिलों के स्कूलों में पत्र भेजे गए हैं, जिसमें कोर्स शुरू कराने के इच्छुक स्कूलों का ब्यौरा मांगा गया है। 9वीं से 12वीं कक्षा तक स्किल डवलपमेंट कोर्स करने वाले विद्यार्थियों के लिए शिक्षा विभाग की ओर से डिप्लोमा भी दिया जाता है। यह चार वर्षीय कोर्स करने के बाद विद्यार्थियों को अलग से औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान (आईटीआई) में कोर्स करने की जरूरत नहीं होगी। विभाग की ओर से कोर्स खत्म होने के बाद कंपनियों में चयन के लिए कंपनी प्रतिनिधियों को भी बुलाया जाता है और कंपनियां अपनी जरूरत अनुसार छात्राओं को चयन करके उन्हे अच्छे पैकेज पर जॉब भी ऑफर करती है। पहले चरण में प्रदेश के 240 स्कूलों में स्किल डवलपमेंट कोर्स शुरू किए थे। इसके बार सत्र 2015-16 में 250 स्कूलों को शामिल किया गया। वहीं 2016-17 सत्र में 500 स्कूलों में स्किल डवलपमेंट कोर्स कराए जा रहे हैं। फिलहाल प्रदेशभर के 990 स्कूलों में 14 कोर्स कराए जा रहे हैं।
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