बाड़मेर। मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान के तहत जल संरक्षण के बेहतर दूरगामी परिणाम मिलेंगे। तालाबों की सफाई के साथ जल संरक्षण की पुरातन परंपरा को कायम रखें। मुख्यमंत्री की मंशा के अनुरूप जल संरक्षण कार्यों की शुरूआत की गई है। इसमें आमजन की अधिकाधिक भागीदारी सुनिश्चित करने के प्रयास किए जाए। राजस्व राज्य मंत्री अमराराम चौधरी ने शुक्रवार को मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान के तहत बाड़मेर जिले की चौहटन ग्राम पंचायत में चीफल नाडी रिनोवेशन कार्य के शुभारंभ के अवसर पर कही।
मंत्री अमराराम चौधरी ने कहा कि जल है तो कल है। आमजन को जल संरक्षण की महत्ता को समझना होगा। उन्हांने कहा कि मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान के तहत पहले चरण 3000 गांवो में जल संरक्षण के कार्य करवाए गए। द्वितीय चरण के समस्त कार्य मई माह तक पूर्ण करवाए जाने है। उन्हांने कहा कि जल संरक्षण के कार्यों में छत्तीस कौम की भागीदारी जरूरी है। उन्होंने समंदर हिलोने की पारंपरिक परंपरा का उदाहरण देते हुए कहा कि इसमें महिलाएं तालाब से 365 तगारी मिटटी बाहर डालती थी। उन्हांने कहा कि पारंपरिक परंपरा की बदौलत तालाबो की सफाई हो जाती थी। उन्होंने अमृतादेवी का जिक्र करते हुए अधिकाधिक पौधारोपण करने का आहवान किया। राजस्व राज्य मंत्री चौधरी ने मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान में विशेष सहयोग के लिए चौहटन विधायक तरूण राय कागा का माल्यार्पण कर बहुमान किया।
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