न्यूयार्क। शोधकर्ताओं ने चेताया है कि बार-बार रैप म्यूजिक सुनने वाले किशोर-किशोरियां जल्दी संबंध बनाने की शुरूआत कर सकते हैं। उन्होंने बताया कि दूसरी तरह के संगीत की अपेक्षा रैप म्यूजिक में स्पष्ट यौन संदेश ज्यादा होते हैं।
अमेरिका के ह्यूस्टन राज्य में स्थित टेक्सास यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं के मुताबिक, मध्य विद्यालय के जो किशोर-किशोरी तीन घंटे या उससे अधिक देर तक रोजाना रैप संगीत का आनंद उठाते हैं, वे नौवीं कक्षा से ही संबंध करने लगते हैं और समझते हैं कि उनके संगी-साथी भी ऎसा कर रहे हैं।
शोध प्रमुख और यूटीहेल्थस स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ के संकाय सहयोगी किमबर्ले जोनसन बेकर का कहना है, "रैप संगीत आपके उस विश्वास को बढ़ाता है कि आपके साथी क्या कर रहे हैं। यह हमें समझाता है कि कुछ चीजें करना ठीक है, जैसे शराब पीना या संबंध बनाना।
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