महादेव के असंख्य रूप हैं। सीधे-साधे भोलेनाथ से लेकर उग्र कालभैरव तक,
सुंदर सोमसुंदर से ले कर भयानक अघोरशिव तक, वे सारी संभावनाओं को अपने भीतर
समेटे हुए हैं। इनके पांच ऐसे बुनियादी रूप हैं, जिनके बारे में हर हिंदू
को जानना चाहिए। इनके बारे में जानने और पढने से ही सभी अधूरे काम पूरे
होने लगते हैं। [# जब व्यवसाय और रोजगार में लगातार हो रही हो हानि, करें ये उपाय] [# अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे]
योग योग योगेश्वराय
भूत भूत भूतेश्वराय
काल काल कालेश्वराय
शिव शिव सर्वेश्वराय
शंभो शंभो महादेवाय
योगेश्वर
योग के पथ पर होने का अर्थ है कि आप अपने जीवन में एक ऐसे चरण पर आ गए
हैं जहां आपने अपने भौतिक शरीर की सीमाओं को जान लिया है। आपने भौतिक
सीमाओं से परे जाने की आवश्यकता को महसूस किया है – आप स्वयं को इस असीम
ब्रह्माण्ड में भी बंधा हुआ पा रहे हैं। आप यह देखने योग्य हो गए हैं कि
अगर आप छोटी सीमा में बंध सकते हैं, तो आप कहीं न कहीं विशाल सीमा में भी
बंध सकते हैं।
आपको ये बात समझने के लिए ब्रह्माण्ड के एक सिरे से दूसरे सिरे तक जाने की
ज़रूरत नहीं है। यहीं बैठे आप जानते हैं कि अगर यह सीमा आपके लिए बाधा बन
रही है तो विशाल ब्रह्माण्ड भी कभी आपके लिए बाधा बन जाएगा – दूरियां
लांघने की क्षमता आने से ये आपके अनुभव में आ जाएगा।
आज का राशिफल: ऐसा बीतेगा 12 राशि के जातकों का मंगलवार
भाद्रपद अमावस्या को अपनाएँ यह उपाय, जीवन की परेशानियों से मिलेगी मुक्ति
वास्तु के इन नियमों को मानने से घर में होता है माँ लक्ष्मी का वास
Daily Horoscope