क्वेटा। पाकिस्तान में इमरान सरकार को सत्ता से हटाने की मुहिम छेड़े हुए जमीयते उलेमाए इस्लाम-फजल (जेयूआई-एफ) के नेता मौलाना फजलुररहमान ने कहा है कि दिसंबर का महीना इमरान सरकार का आखिरी महीना साबित होने जा रहा है। पाकिस्तान के प्रांत बलोचिस्तान की राजधानी क्वेटा में मीडिया से बातचीत के दौरान मौलाना फजल ने यह दावा किया। उन्होंने कहा कि हमें देश पर राज कर रहे 'माफिया' से मुक्ति पानी ही होगी। शासकों को सत्ता छोड़कर यूरोप में दिन बिताने चाहिए। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
इमरान सरकार को सत्ता से हटाने के लिए नवंबर में निकाले गए अपनी पार्टी के आजादी मार्च को मौलाना ने ऐतिहासिक करार दिया। उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी देश भर में अपना प्रदर्शन जारी रखेगी।
मौलाना ने यह भी दावा किया कि पनामा पेपर अंतर्राष्ट्रीय दबाव का मामला था जिसका इस्तेमाल राजनैतिक नेतृत्व के खिलाफ किया गया।
गौरतलब है कि पनामा पेपर से कई देशों के नेताओं व अन्य हस्तियों द्वारा विदेश में गैरकानूनी तरीके से धन रखे जाने का खुलासा हुआ था। पाकिस्तान में इसकी चपेट में पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ भी आए थे।
फजलुर रहमान ने देश में फिर से चुनाव कराने की मांग दोहराई और कहा कि अगर सरकार ने उनकी यह मांग नहीं मानी तो उसे इसके गंभीर नतीजे भुगतने होंगे। उन्होंने कहा कि देश की अर्थव्यवस्था बदतर हालत में है, बेरोजगारी बढ़ रही है, लोग खर्च करने क क्षमता खो चुके हैं। समस्या का एकमात्र समाधान देश में नए सिरे से चुनाव कराने में निहित है। (आईएएनएस)
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