नई दिल्ली। केंद्रीय वित्तमंत्री अरुण जेटली ने मंगलवार को इस बात से इनकार किया कि सरकार ने बड़े पूंजीपतियों का बैंक कर्ज माफ कर दिया है। उन्होंने जोर देकर कहा कि 12 बड़े बकाएदारों के खिलाफ 1,75,000 रुपये की बकाया राशि की समयबद्ध वसूली के लिए कार्रवाई शुरू कर दी गई है। उन्होंने एक ब्लॉग पोस्ट में कहा, पिछले कुछ सालों से, एक अफवाह फैल रही है कि बैंकों द्वारा पूंजीपतियों का कर्ज माफ किया जा रहा है..सरकार ने बड़े बकाएदारों (एनपीए बकाएदारों) का कोई भी कर्ज माफ नहीं किया है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
उन्होंने कहा, इसके विपरीत, नए दिवाला और दिवालापन संहिता के तहत 12 सबसे बड़े बकाएदारों के खिलाफ अगले छह से नौ महीनों में कुल 1,75,000 करोड़ रुपये कर्ज की वसूली के लिए राष्ट्रीय कंपनी कानून प्राधिकरण में मामला भेजा गया है। बैंकों के पुनर्पूजीकरण की आलोचनाओं का जवाब देते हुए जेटली ने कहा कि इसका मतलब यह नहीं है कि एनपीए (फंसे हुए कर्ज) को माफ किया जा रहा है और सरकारी बैंकों को अतीत में भी पूंजी मुहैया कराई गई है।
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