हरियाणा में दो लाख से अधिक रिटायर्ड सैनिकों को लुभाने के लिए भाजपा ने वन
रैंक वन पेंशन की भी बात की। शहीदों के परिवार और जवानों के बच्चों के लिए
संचालित योजनाओं के जरिए भाजपा ने चुनावी अभियान के दौरान राष्ट्रवाद का
कार्ड चला।
मगर दोनों राज्यों के दोपहर तक के रुझानों से पता चलता
है कि भाजपा 2014 का प्रदर्शन नहीं दोहरा पाई है। पिछली बार से दोनों
राज्यों में कम सीटें आईं हैं।
हरियाणा में पिछली बार 47 सीटें पाकर बहुमत
से सरकार बनाने वाली भाजपा इस बार 40 से 41 सीटों के लिए संघर्ष कर रही है।
जबकि पिछली बार सिर्फ 15 सीटें जीतने वाली कांग्रेस इस बार दोगुनी सीटों
पर बढ़त बनाए है।
जबकि इनेलो से टूटकर बनी दुष्यंत चौटाला की जेजेपी करीब
10 सीटों पर बढ़त बनाकर सत्ता का चाबी अपने पास रखने की स्थिति में है। खास
बात है कि महाराष्ट्र में 2014 के चुनाव में 122 सीटें जीतने वाली भाजपा
इस बार सौ सीटों तक ही पहुंचती दिख रही है।
(आईएएनएस)
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