मथुरा। उत्तर प्रदेश कैबिनेट ने मथुरा-वृंदावन को नगर निगम का दर्जा दे दिया है। प्रदेश कैबिनेट के इस फैसले पर जहां मथुरा में जश्न मनाया जा रहा है वहीं वृंदावन के लोग इसका विरोध कर रहे हैं। वृंदावन के लोग इसे नगर निगम में शामिल करने के खिलाफ थे। उनका कहना है कि वृंदावन का हमेशा ही मथुरा से अलग अस्तित्व रहा है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
कांग्रेस के जिलाध्यक्ष सोहन सिंह सिसौदिया का कहना है कि मथुरा-वृंदावन को नगर निगम बनाया जाना स्वागत योग्य कदम है। हालांकि इससे वृंदावन को नुकसान होगा। इसके लिहाज से वृंदावन को इसमें शामिल नहीं किया जाना चाहिए था।
सपा जिलाध्यक्ष तनवीर अहमद ने कहा कि निगम बनाने की पहल समाजवादी सरकार ने ही की थी। प्रक्रिया भी पूरी कर ली गई थी। हालांकि किन्हीं कारणों से मंजूरी नहीं मिल सकी। निगम बनने से और तेज विकास हो सकेगा। व्यापारी नेता अजयकांत गर्ग बोले कि नगर निगम बनने से मथुरा-वृंदावन के लोगों को निश्चित रूप से लाभ होगा। निगम बनने के बाद विकास की नई योजनाएं बनेंगी। मथुरा बड़े शहरों में शामिल हो जाएगा।
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