यह आमंत्रण पत्र एसपी के राष्ट्रीय सचिव राजेंद्र चौधरी और बीएसपी के
राष्ट्रीय महासचिव सतीश चंद्र मिश्रा की ओर से भेजा गया है। आपको बताते जाए
कि इससे पहले सन 1993 मेंं समाजवादी पार्टी और बीएसपी ने साथ मिलकर चुनाव
लड़ा था और बीजेपी को शिकस्त देते हुए राज्य में गठबंधन सरकार बनाई थी। ये भी पढ़ें - यहां कब्र से आती है आवाज, ‘जिंदा हूं बाहर निकालो’
दोनों दलों के बीच खाका तैयार होने के साथ शीर्ष नेता आगामी लोकसभा चुनाव
के लिए गठबंधन का ऐलान कर सकते हैं। इसके साथ ही सीटों का ऐलान भी हो सकता
है।
सूत्रों ने कहा कि खनन घोटाले और गठबंधन पर इसके प्रभाव को आंका जाना बाकी है। यह समझौता लगभग पूरा हो चुका है।
पार्टी
के एक वरिष्ठ नेता ने कहा कि एसपी और बीएसपी 37-37 सीटों को साझा करेंगे,
जबकि वे अजीत सिंह के राष्ट्रीय लोकदल (आरएलडी) के लिए दो सीटें छोड़
देंगे।
यह गठबंधन कांग्रेस के लिए अमेठी और रायबरेली इन दो सीटें को भी छोड़ सकता है।
आपको
बताते जाए कि उत्तर प्रदेश में 80 लोकसभा सीटें हैं। केन्द्र में सत्ता का
रास्ता इसी प्रदेश से होकर जाता है। आरएलडी के भी इस गठबंधन में शामिल
होने की संभावना है।
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