लखनऊ। बहुजन समाज पार्टी ने 2022 के विधानसभा चुनाव में जेल में बंद डॉन मुख्यता अंसारी को टिकट नहीं देने की घोषणा की है, जिसके बाद माफिया डॉन से नेता बने अंसारी की राजनीतिक किस्मत ने करवट ली है। एआईएमआईएम ने मुख्तार अंसारी को चुनावी टिकट की पेशकश की और फिर कहा कि अगर वह किसी अन्य पार्टी से चुनाव लड़ते हैं तो वह उनके खिलाफ अपना उम्मीदवार नहीं खड़ा करेगी। सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी (एसबीएसपी) अब संकटग्रस्त विधायक के समर्थन में सामने आई है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
एसबीएसपी प्रमुख ओम प्रकाश राजभर ने सोमवार को मुख्तार अंसारी को गरीबों के लिए 'मसीहा' बताया।
ओम प्रकाश राजभर ने कहा, "पूर्वाचल में चाहे भाजपा हो, सपा, बसपा हो या कांग्रेस नेता, जो भी चुनाव जीतना चाहता है, वह मुख्तार अंसारी से आशीर्वाद लेता है। वह उसके बाद ही चुनाव जीतता है। गरीब, वंचित और वहां के नेता उन्हें एक मसीहा के रूप में मानते हैं और हर कोई इसे जानता है।"
उन्होंने आगे कहा, "जब मुख्तार अंसारी 2017 में बसपा में शामिल हुए, तो मायावती ने भी कहा कि वह गरीबों के मसीहा हैं। मैं उनकी बात दोहरा रहा हूं। लोकसभा और राज्य विधानसभा में आधे से ज्यादा सांसद अपराधी हैं। कई लोग हैं जो उनके खिलाफ उंगलियां उठा रहे हैं क्योंकि वह मुस्लिम हैं। बीजेपी, कांग्रेस और बसपा को इस मुद्दे पर आत्ममंथन करना चाहिए।"
2005 से जेल में बंद मुख्तार अंसारी मऊ विधानसभा क्षेत्र से पांच बार विधायक रहे हैं।
बसपा अध्यक्ष मायावती ने हाल ही में घोषणा की थी कि 2022 के उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में अंसारी को उनकी पार्टी द्वारा मैदान में नहीं उतारा जाएगा। उन्होंने दावा किया कि उनकी पार्टी राजनीति के अपराधीकरण की जांच करेगी।
--आईएएनएस
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