लखनऊ । प्रदेश की राजधानी लखनऊ में समाजवादी पार्टी (सपा) के कार्यकर्ताओं द्वारा समाज में कानून व्यवस्था के स्तर में हो रही गिरावट, महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराध, बेराजेगारी और हालिया कृषि और श्रम कानून के विरोध में प्रदर्शन किया गया। इस दौरान उन पर जमकर लाठीचार्ज किया गया। यहां जीपीओ पार्क के पास जहां महात्मा गांधी की प्रतिमा स्थापित है, उस जगह को पूरी तरह से सील कर दिया और पुलिस की भारी तैनाती कर दी गई। शहर के विक्रमादित्य मार्ग पर समाजवादी पार्टी ऑफिस के चारों ओर बैरिकेड्स लगा दिए गए ताकि पार्टी नेताओं को बाहर जाने से रोका जा सके। ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
शहर के कई स्थानों पर माहौल गर्म देखने को मिला। विपक्ष के नेता राम गोविंद चौधरी और पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम सहित 20 से अधिक विधायकों को हिरासत में ले लिया गया।
समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता अनुराग भदौरिया पर भी जमकर लाठियां बरसाई गईं। उन्होंने मीडियाकर्मियों को अपने घाव के निशान भी दिखाए।
राम गोविंद चौधरी ने आईएएनएस को बताया, "उत्तर प्रदेश में किसानों, युवाओं, आम आदमियों और विपक्ष के द्वारा भाजपा और राज्य सरकार के दमन और उत्पीड़न के खिलाफ एक मौन सत्याग्रह होना था, लेकिन सत्तारूढ़ पार्टी ने शांतिपूर्वक विरोध करने के हमारे अधिकार को छीन लिया है और यह एक लोकतंत्र में हुई सबसे बुरी चीज है।"
समाजवादी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम पटेल ने कहा, "सरकार ने किसानों के अपने खेतों को बंधक बनाने और अपने ही खेतों में मजदूरी करने की साजिश रची है। खुले बाजार के नाम पर बड़े व्यापारियों और व्यवसायिक प्रतिष्ठानों को किसानों की उपज कम दर पर खरीदने की आजादी मिलेगी। मंडी व्यवस्था को खत्म किया जा रहा है। सरकार हमें इन मुद्दों पर विरोध करने से नहीं रोक सकती है।"
--आईएएनएस
कोर्ट को आप ने राजनीतिक अखाड़ा बना दिया है, भारतीय न्यायपालिका को बदनाम करने की कोशिश : शहजाद पूनावाला
हुर्रियत कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष मीरवाइज उमर फारूक कश्मीर में नजरबंद
शराब घोटाला मामला: एक अप्रैल तक ईडी की हिरासत में केजरीवाल
Daily Horoscope