झांसी। 60 किलोमीटर दूर मउरानीपुर में बीते रोज भाजपा के दो नेता अवैध बालू खनन को लेकर आमने सामने आ गये। हालात यहां तक पहुंच गये कि पुलिस व प्रशासन को हस्तक्षेप करना पड़ा। नतीजा नहीं निकला कि कौन सही है और कौन गलत ? ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
मउरानीपुर में बैलाई घाट पर हुये पटटे को लेकर निकाली जा रही बालू अवैध बताते हुये पालिका अध्यक्ष दमेले ने विरोध का झंडा बुलंद कर दिया। अपने समर्थकों के साथ घाट पर पहुंचे दमेले का आरोप है कि बालू को गलत तरीके से भरा जा रहा है। जिस घाट का पटटा हुआ है, बालू वहां से नहीं निकाली जा रही है। उन्होंने सीधे तौर पर विधायक बिहारी लाल आर्य को लपेटे में ले लिया। आंच जब बिहारी लाल आर्य पर पहुंची, तो उन्होंने कहा कि दमेले जी हमारे संगठन के हैं। ऐसी कोई बात नहीं है। बालू के गलत तरीके से निकाले जाने का हम भी विरोध करेंगे। देर शाम तक दोनों पक्षों के बीच सुलह नहीं हो सकी। इस मामले में प्रशासन खामोशी से तमाशा देखने के सिवाय कुछ नहीं कर सका। तहसीलदार ने साफ किया कि हर काम नियम से होगा। पुलिस भी मौजूद बनी रही।
गौरतलब है कि प्रदेश में बालू खनन पर लगी रोक के बाद बीते कुछ दिनों पहले ही पटटे आवंटित हुये हैं। इनमें कुछ पटटे स्थानीय स्तर पर मिले हैं। जिन स्थानों पर बालू के पटटे हैं, वहां कम मात्रा में बालू निकल रही है।बारिश से पहले पैसा बटोरने के चक्कर में भाजपाई नियमों को ताक पर रखना नहीं भूल रहे। ऐसे में विपक्ष पर आरोप लगाने वाले भाजपाई खुद विपक्ष के निशाने पर आ गये हैं। देखना यह है कि क्या दूसरे स्थानों पर भी बालू के अवैध खनन के मामले सामने आते हैं या फिर…?
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