चित्रकूट/बांदा। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने अपने जिन मंत्रियों और विधायकों को नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) और राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) के बारे में जागरूकता अभियान चलाने की जिम्मेदारी सौंपी है, उन्हें खुद 'सीएए' और 'एनआरसी' का मतलब नहीं पता है। यह स्थिति रविवार को चित्रकूट में उस समय देखने को मिली, जब संवाददाताओं के पूछने पर कृषि राज्य मंत्री बंगला झांकने लगे। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
देश के कई हिस्सों में नागरिक संशोधन अधिनियम (सीएए) और राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) को लेकर लगातार प्रदर्शनों का दौर चल रहा है। इस बीच भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) घर-घर जाकर सीएए और एनआरसी से किसी की नागरिकता नहीं जाने की जानकारी देने की मुहिम छेड़े हुए है। इसी सिलसिले में रविवार को राज्य सरकार में कृषि राज्य मंत्री श्रीराम चौहान चित्रकूट पहुंचे और जिला मुख्यालय में भाजपा के तमाम पदाधिकारियों के साथ शांति मार्च निकाला और लोगों को जागरूक किया।
इस दौरान संवाददाताओं ने उनसे सीएए और एनआरसी का मतलब पूछा। इस सवाल पर मंत्री महोदय इधर-उधर झांकने लगे और कुछ देर की चुप्पी के बाद उन्होंने सिर्फ इतना कहा कि "फिर कभी पूछ लीजिएगा।"
कृषि राज्य मंत्री की यह स्थिति अब सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रही है।
इसी प्रकार भाजपा के ही बांदा जिले की नरैनी सीट से विधायक राजकरन कबीर से सोमवार को जब इस संवाददाता ने सीएए और एनआरसी का अंग्रेजी में फुलफॉर्म एवं हिंदी में अर्थ जानना चाहा तो उनका जवाब था कि "यह प्रधामंत्री और गृहमंत्री बताएंगे, हम तो उनके इशारे पर सब कुछ कर रहे हैं।"
--आईएएनएस
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