टोंक। काफी सालों से टोंक में रीछ एवं बंदरों आदि का खेल दिखाकर आजाीविका चला रहे कलंदर जाति के लोगों ने सोमवार को सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री के नाम जिला कलेक्टर को ज्ञापन देकर मांग की हैं कि कलंदर उर्फ मदारी जाति के लोगों को घुमन्तु, अद्र्व घुमन्तु, विमुक्त जातियों में शामिल करके सरकारी योजनाओं का लाभ दिलाया जाए। ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
मोहल्ला बहीर निवासी फरीद, हैदरअली,जमील, नसीम, कल्ली, रसीदा, सलमा, नूर मोहम्मद, मोहम्मद रफीक आदि ने सोमवार को जिला कलेक्टर को इस संबंध में ज्ञापन सौंपा। इसमें कहा गया है कि मदारी जाति जिसको कलंदर के नाम से भी जाना जाता हैं आजादी के समय से ही घूम -घूम कर बन्दर व जंगली जानवरों का तमाशा दिखाकर परिवार का पालन पोषण करते हैं। भारत सरकार की ओर से कई लोकल्याणकारी योजनाएं पिछड़े वर्ग के लिए चलाई जा रही हैं। कलन्दर जाति के लोगों ने बताया कि अब जंगली जानवरो का तमाशा दिखाए जाने पर रोक लगा दिए जाने से उनके समक्ष जीवनयापन का संकट पैदा हो गया हैं। इसलिए इन लोगों को भी घुमन्तु जातियों में शामिल कर सरकार की कल्याणकारी योजनाओं का लाभ दिया जाना चाहिए।
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