नई दिल्ली। जोधपुर शहर में मंगलवार को हुई हिंसा और सांप्रदायिक तनाव की घटनाओं के बाद केंद्रीय गृह मंत्रालय शहर के साथ-साथ राज्य की भी स्थिति पर नजर बनाए हुए है। मंत्रालय के सूत्रों ने बुधवार को यह जानकारी दी। मंगलवार को तड़के, राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के गृहनगर जोधपुर में सांप्रदायिक हिंसा फैल गई थी। दरअसल झंडा फहराए जाने के मुद्दे पर दो समूह आपस में भिड़ गए। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
जोधपुर पुलिस ने बुधवार रात तक शहर के 10 थाना क्षेत्रों में कर्फ्यू लगा दिया है और अधिकारियों ने एहतियात के तौर पर मोबाइल इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी हैं।
पुलिस अधिकारियों के मुताबिक अब तक 50 से ज्यादा लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है। प्रशासन ने पुलिस से अपराधियों से सख्ती से निपटने को कहा है।
जालोरी गेट सर्कल पर इस्लामिक झंडे लगाने को लेकर सोमवार आधी रात को क्षेत्र में तनाव व्याप्त हो गया, जिसमें पथराव हुआ और पांच पुलिसकर्मी घायल हो गए। मंगलवार तड़के भारी पुलिस बल की तैनाती से स्थिति पर काबू पा लिया गया। हालांकि, ईदगाह में नमाज के बाद स्थिति फिर गंभीर हो गई जब जालोरी गेट क्षेत्र के पास की दुकानों, वाहनों और घरों पर पथराव किया गया।
जानकारी के मुताबिक एक अल्पसंख्यक समुदाय के सदस्य स्वतंत्रता सेनानी बालमुकुंद बिस्सा की प्रतिमा के बगल में एक चौराहे पर अपने झंडे लगा रहे थे। दूसरे समुदाय के सदस्यों ने आरोप लगाया कि वहां परशुराम जयंती से पहले एक भगवा झंडा लगाया गया था, जो गायब हो गया था और इसी मुद्दे को लेकर मंगलवार को पथराव और झड़प हुई।
सीएम अशोक गहलोत ने अधिकारियों को हिंसा के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने का निर्देश दिया है, चाहे उनका धर्म, जाति या वर्ग कुछ भी हो। उन्होंने भाजपा पर जोधपुर में सांप्रदायिक हिंसा भड़काने का भी आरोप लगाया।
--आईएएनएस
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