जयपुर। राज्य सरकार द्वारा अलवर जिले के थानागाजी प्रकरण में पुलिस कार्यवाही की खामियों के संबंध में जयपुर के संभागीय आयुक्त के.सी.वर्मा से करवाई गई जांच तथा महानिदेशक पुलिस द्वारा पुलिस मुख्यालय के उपमहानिरीक्षक (सतर्कता) जोस मोहन से करवाई गई जांच के प्रतिवेदन प्राप्त होने पर राज्य सरकार ने इनके आधार पर दोषी पुलिस अधिकारियों के विरूद्ध कार्यवाही करने के निर्देश दिये है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
अतिरिक्त मुख्य सचिव गृह राजीव स्वरूप ने महानिदेशक पुलिस को थानागाजी पुलिस स्टेशन के थानाधिकारी सरदार सिंह के विरुद्ध मामला दर्ज कर कार्यवाही करने के साथ ही अन्य पुलिसकर्मियों के विरुद्ध कार्यवाही करने के निर्देश जारी किए हैं। थानाधिकारी सरदार सिंह के विरुद्ध भारतीय दंड संहिता की धारा 166 ए(सी) और सेक्शन 4(1)/(2)(बी) तथा अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निरोधक) अधिनियम, 1989 के तहत मामला दर्ज कर आवश्यक कार्यवाही करने के निर्देश दिए हैं।
इन निर्देशों के अनुसार पुलिस उप अधीक्षक एवं अलवर के वृत्ताधिकारी (ग्रामीण) जगमोहन शर्मा को जिले से बाहर स्थानांतरित करने के लिए कहा गया है। उप निरीक्षक बाबूलाल, सहायक उपनिरीक्षक रूपनारायण, कांस्टेबल सर्वश्री महेश(249), घनश्याम सिंह(678), बृजेंद्र(1810), राजेंद्र(439) और राम रतन(840) का स्थानान्तरण जयपुर रेंज के बाहर स्थानान्तरित करने के लिए कहा गया हैं। इसके अतिरिक्त घटनाक्रम के समय मौजूद थाने के शेष बचे स्टाफ को थानागाजी पुलिस स्टेशन से बदलने के लिए कहा गया है।
उप अधीक्षक जगमोहन शर्मा, पुलिस निरीक्षक सरदार सिंह और कांस्टेबल महेश के विरुद्ध 16 सीसीए की चार्जशीट देने के निर्देश दिए है। साथ ही उप निरीक्षक बाबूलाल, सहायक उपनिरीक्षक रूप नारायण, कांस्टेबल सर्वश्री घनश्याम सिंह, बृजेंद्र, राजेंद्र और राम रतन के विरुद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही करने के लिए कहा है।
तत्कालीन पुलिस अधीक्षक डॉ. राजीव पचार एवं अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक चिरंजीलाल मीना का स्पष्टीकरण प्राप्त किया गया है।
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