जयपुर। जोरावर सिंह गेट स्थित राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान में नेशनल
आयुर्वेद स्टूडेंट्स एण्ड यूथ एसोसिएशन एवं आयुष मंत्रालय के सहयोग से
आयुर्वेद में वर्णित नस्य कर्म के गिनीज़ बुक ऑफ़ वर्ल्ड रिकार्ड से
सम्बन्धित प्रशिक्षण दिनांक 30 अगस्त को प्रारम्भ हो गया है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
राष्ट्रीय
आयुर्वेद संस्थान में 14.16 सितम्बर 2017 तक प्रथम राष्ट्रीय आयुर्वेद
युवा महोत्सव का आयोजन होने जा रहा है जिसमें देश भर से 3000 प्रतिभागी भाग
लेने वाले हैं। 15 सितम्बर 2017 को आयुर्वेदीय पंचकर्म के
महत्वपूर्ण अंग नस्य कर्म के गिनीज़ बुक ऑफ़ वर्ल्ड रिकार्ड के लिए 1000
चिकित्सक संयुक्त रूप से एक हजार व्यक्तियों पर नस्य कर्म करेंगे। पंचकर्म
वर्णित नस्य कर्म मुख्यतः शरीर के ऊपरी भाग में होने वाले रोगों के साथ-साथ
शरीर की व्याधियों पर चिकित्सीय प्रभाव करता है। गिनीज़ बुक ऑफ़ वर्ल्ड रिकार्ड सम्बन्धित विभिन्न तैयारियां भी संस्थान में प्रारम्भ की जा चुकी
हैं। वर्ल्ड रिकार्ड का आयोजन दिनांक 15 सितम्बर, 2017 को प्रातः 7.30 बजे
से 10.30 बजे तक किया जाएगा। पंचकर्म के विभागाध्यक्ष डॉ. गोपेश मंगल
द्वारा नस्य कर्म का प्रशिक्षण दिया जा रहा है।
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