जयपुर। प्रदेश में संचालित राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम के अंतर्गत जयपुर शहर के स्कूली 10 से 19 वर्ष तक की आयुवर्ग वाले बच्चों के स्वास्थ्य की जांच कर विशेषकर मानसिक रोगों से संबंधी स्क्रीनिंग की जाएगी। इसके लिए पायलट प्रोजेक्ट तैयार कर दिल्ली की वन-की-वेंचर्स प्राइवेट लिमिटेड के साथ एमओयू किया गया है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
स्वास्थ्य सचिव एवं मिशन निदेशक राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन नवीन जैन ने बताया कि 10 से 19 वर्ष तक की किशोरावस्था में विभिन्न शारीरिक, मानसिक व सामाजिक परिवर्तन आते हैं। यह पायलट प्रोजेक्ट संचालित कर लगभग 50 हजार किशोर-किशोरियों का लक्ष्य निर्धारित कर उनमें मानसिक रोगों की पहचान कर उपचार सेवाएं निशुल्क सुलभ कराई जाएंगी। उन्होंने बताया कि सीएसआर प्रोजेक्ट होने से राज्य सरकार पर किसी भी प्रकार का वित्तीय भार नहीं पड़ेगा। एमओयू कार्यक्रम में राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम के नोडल प्रभारी एवं प्रोजेक्ट के प्रिंसिपल इन्वेस्टीगेटर डॉ. प्रदीप शर्मा सहित संबंधित अधिकारी मौजूद थे।
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