जयपुर। राजस्थान में स्टेट ओपन स्कूल परीक्षा पैटर्न में एक महत्वपूर्ण बदलाव होने जा रहा है। शिक्षामंत्री मदन दिलावर ने संकेत दिए हैं कि अब 10वीं और 12वीं की परीक्षा साल में दो बार की बजाय हर महीने आयोजित की जाएगी। इस बदलाव के साथ, राजस्थान देश का पहला राज्य बनेगा जो ऑन-डिमांड परीक्षा व्यवस्था को लागू करेगा।
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2005 में शुरू हुए स्टेट ओपन स्कूल के इस नई व्यवस्था के तहत, अब विद्यार्थियों को साल में दो बार नहीं बल्कि हर महीने परीक्षा देने का मौका मिलेगा। वर्तमान में, 10वीं और 12वीं की परीक्षा मार्च से मई और अक्टूबर से नवंबर के बीच आयोजित की जाती है। इस बदलाव से विद्यार्थियों को अधिक लचीलापन मिलेगा और वे अपनी सुविधानुसार परीक्षा दे सकेंगे।
शिक्षा निदेशालय के निदेशक आशीष मोदी के मुताबिक राजस्थान स्टेट ओपन स्कूल अब ऑन-डिमांड एग्जाम की व्यवस्था लाएगा। इसके तहत, यदि किसी कक्षा में कम से कम 10 विद्यार्थी एक साथ परीक्षा देने के इच्छुक हैं, तो परीक्षा आयोजित की जाएगी। इस व्यवस्था का प्रयोग राजस्थान देश का पहला राज्य करेगा, जबकि वर्तमान में केवल एनआईओएस (नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ ओपन स्कूल) ही ऐसी व्यवस्था लागू करता है।
नए सत्र का परिणाम और पुरस्कार
मार्च-मई 2024 के दौरान आयोजित ओपन स्कूल की परीक्षा के परिणाम मंगलवार को घोषित किए गए। 10वीं की परीक्षा में पाली की डिंपल कुमावत और 12वीं की परीक्षा में उदयपुर की प्रियंका पंवार ने पहला स्थान प्राप्त किया।
इस बार 10वीं का परीक्षा परिणाम 80.33% रहा, जिसमें 66% छात्र और 90% छात्राओं ने सफलता प्राप्त की। वहीं, 12वीं में 63% स्टूडेंट्स ने परीक्षा पास की, जिसमें 62% छात्र और 63% छात्राओं ने सफलता प्राप्त की।
राज्य स्तर पर टॉप करने वाले स्टूडेंट्स को 21 हजार रुपए और जिला स्तर पर टॉप करने वाले छात्रों को 11 हजार रुपए का पुरस्कार दिया जाएगा।
इस बदलाव से राजस्थान के विद्यार्थियों को परीक्षा की तैयारी और प्रदर्शन में ज्यादा लचीलापन मिलेगा, जिससे उनकी सफलता की संभावनाएं बढ़ेंगी।
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