धौलपुर। शासन सचिव बाल अधिकारिता विभाग और जिला कलक्टर श्रीनिधि बीटी के निर्देशानुसार सभी शुक्रवार को जिले की सभी 188 ग्राम पंचायतों में मेगा जाजम बैठकों का आयोजन किया गया। इसके साथ ही नारी चौपाल और महिला ग्राम सभाओं का आयोजन भी रखा गया। उक्त कार्यक्रमो में महिला अधिकारिता विभाग की साथिनों, महिला एवं बाल विकास विभाग की आंगनवाड़ी कार्यकर्ता एवं सहायिकाओं सहित पंचायती राज विभाग के ग्राम विकास अधिकारियों द्वारा भाग लिया गया।
सहायक निदेशक बाल अधिकारिता विभाग विश्व देव पांडेय एवं उपनिदेशक आईसीडीएस भूपेश गर्ग द्वारा उक्त बैठकों का भ्रमण कर बाल विवाह निषेध की अपील की गई। महिलाओं ने जाना कि बाल विवाह सबसे ज्यादा उनके लिए ही घातक है एवं इसके लिए उन्हें ही सबसे पहले आगे आना चाहिए। उन्होंने कसम खाई कि वे बिना जांच पड़ताल के आगे से किसी विवाह न्योते में भी नहीं जाएंगी।
वहीं पुलिस एवं प्रशासन द्वारा शुक्रवार को अंतिम जानकारी मिलने तक जिले में अलग-अलग स्थानों पर तीन बाल विवाहों को रोकने में सफलता पाई। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
पंडितो के अनुसार शुक्र एवं गुरु गृह अस्त होने के कारण विवाहों के संख्या कम होना एवं सरपंचों में उच्च न्यायालय के आदेश का भय पुलिस एवं प्रशासन के लिए मददगार साबित हुआ। एक प्रकरण में पुलिस एवं प्रशासन ने सक्रियता दिखाते हुए आधार कार्ड में वर की आयु बालिग होने पर भी जेजे एक्ट के अनुसार विद्यालय से रिकॉर्ड प्राप्त कर बच्चे की आयु की पुष्टि की, जिसमें वर को नाबालिग पाया गया एवं विवाह को रुकवाया गया।
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