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दौसा। राजस्थान विद्युत संयुक्त संघर्ष समिति द्वारा विद्युत निगमों के संभावित निजीकरण के विरोध में जारी आंदोलन को लेकर शनिवार को ऊर्जा भवन में अहम बैठक हुई। ऊर्जा मंत्री हीरालाल नागर की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में समिति के प्रतिनिधियों के साथ गहन चर्चा की गई।
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बैठक में जयपुर डिस्कॉम की अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक आरती डोगरा, प्रसारण निगम के प्रबंध निदेशक नथमल डिडेल तथा उत्पादन निगम के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक देवेंद्र श्रृंगी मौजूद रहे। इन अधिकारियों ने संयुक्त रूप से संघर्ष समिति को यह लिखित आश्वासन दिया कि राज्य सरकार द्वारा विद्युत निगमों के निजीकरण की कोई योजना नहीं है।
लिखित आश्वासन में यह स्पष्ट किया गया कि वर्तमान में केवल सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने हेतु विभिन्न मॉडल लागू किए जा रहे हैं, जिनका उद्देश्य नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों को प्रोत्साहित करना है। इन मॉडलों के लागू होने से न तो किसी कर्मचारी की सेवा शर्तों पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा और न ही किसी कर्मचारी को सेवा से हटाया जाएगा।
ऊर्जा मंत्री नागर ने समिति को आश्वस्त किया कि सरकार कर्मचारियों के हितों के प्रति पूरी तरह प्रतिबद्ध है। इस आश्वासन के बाद राजस्थान विद्युत संयुक्त संघर्ष समिति (कर्मचारी, अधिकारी एवं अभियंता मंच) ने सामूहिक रूप से विचार-विमर्श कर आगामी आंदोलनों को स्थगित करने का निर्णय लिया।
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