दौसा। किसान संघर्ष समिति के पदाधिकारियों ने दौसा के कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर किसानों के लिए उचित मुआवजे की मांग की। ज्ञापन में बताया गया कि ग्राम मलाला, ढिगारिया और डुगरावता के किसानों की जमीन से नई हाईटेंशन लाइन निकाली जा रही है, जिससे उनकी खेती और जमीन की कीमत पर गहरा असर पड़ रहा है।
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बिना सहमति सर्वे और निर्माण कार्य
ग्राम डुगरावता में प्रस्तावित जीएसएस (ग्रिड सब स्टेशन) का निर्माण पावर ग्रिड कंपनी द्वारा किया जा रहा है। किसानों का आरोप है कि सर्वे गुपचुप तरीके से न्यूनतम लागत को ध्यान में रखते हुए किया गया। इसके तहत किसानों की निजी खातेदारी की बेशकीमती जमीन के ऊपर से हाईटेंशन लाइन को सेंक्शन किया गया।
खेतों की कीमत और फसल का नुकसान
किसानों ने बताया कि हाईटेंशन लाइन के खेतों के ऊपर से गुजरने के बाद जमीन की कीमत में भारी गिरावट आती है। इसके अलावा, मौजूदा फसल को भी नुकसान पहुंचता है।
निर्माण कार्य पर पाबंदी
हाईटेंशन लाइन के नीचे आने वाली जमीन पर किसी भी प्रकार के निर्माण कार्य पर रोक लग जाती है। प्रभावित किसानों के निर्माणाधीन मकानों को रोकने के नोटिस भी जारी किए गए हैं।
मुआवजा की मांग
किसानों ने मांग की है कि अधिग्रहित जमीनों का मुआवजा मार्केट रेट के आधार पर दिया जाए। इसके साथ ही, निर्माण कार्य को रोकने और पुनः सर्वे के आदेश जारी करने की मांग की गई।
ज्ञापन में शामिल पदाधिकारी
ज्ञापन देने वालों में भूपेंद्र सिंह शेखावत, रमेश शर्मा, लक्ष्मण सैनी, मुकेश सिंह, लक्ष्मीनारायण, गोपाल सिंह, हरिओम शर्मा, नवल शर्मा, पदम सिंह, बाबूलाल, ईश्वर सैनी, नानगराम सैनी, रामेश्वर, नाथूराम शर्मा, मूलचंद, दशरथ सिंह, रामधन सैनी, महादेव सिंह गुर्जर सहित कई किसान शामिल थे।
किसानों की चेतावनी
किसान संघर्ष समिति ने स्पष्ट किया कि यदि उनकी मांगों को अनदेखा किया गया, तो वे बड़े स्तर पर आंदोलन करेंगे। अधिकारियों से इस मामले में तुरंत हस्तक्षेप कर उचित कार्रवाई करने की मांग की गई।
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