विटामिन-ए से बच्चों में दस्त एवं निमोनिया आदि बीमारियों के घातक
प्रभाव में कमी लाई जा सकती है। विटामिन के जरिए पांच वर्ष से कम उम्र के
बच्चों की मृत्युदर में भी कमी आती है। विटामिन ए शरीर में अनेक अंगों को
सामान्य रूप में बनाए रखने में मदद करता है जैसे कि त्वचा, बाल, नाखून,
ग्रन्थि, दांत, मसूडा और हड्डी। सबसे महत्वपूर्ण स्थिती जो कि सिर्फ पोषक
तत्व ए के अभाव में होती है, वह है अंधेरे में कम दिखाई देना, जिसे रतौंधी
भी कहते हैं।
इसके साथ आंखों में आंसू के कमी से आंख सूख जाते हैं
और उसमें घाव भी हो सकता है। बच्चों में पोषक तत्व ए के अभाव में विकास की
गति धीमि हो जाती है, जिससे उनके कद पर असर हो सकता है। त्वचा और बालों में
भी सूखापन हो जाता है और उनमें से चमक चली जाती है। संक्रमित बीमारी होने
का संभावना बढ जाती है। इसलिए बच्चों को विटामिन ए की खुराक अवश्य पिलानी
चाहिए, जो कि राज्य सरकार की ओर से निःशुल्क उपलब्ध करवाई जाएगी।
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