बूंदी। लंका गेट रोड स्थित रेतवाले महादेव मंदिर में जैसे ही शंभू ओंकारा के उच्चारण से होने वाले 72 घंटे का अखंड कीर्तन की शुरुआत हुई वैसे ही कई दिनों से शांत मेघों ने भी तेज बरसात के साथ मल्हार गाना शुरू कर दिया। ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
रविवार को शुरू हुए अखंड कीर्तन में शिव कीर्तन मंडल एवं शिव महिला मंडल द्वारा लगातार शंभू ओमकारा अविनाशी गंगाधर कैलाशी की धुन पर कीर्तन किया जाता है। बूंदी निवासी एवं सूरत प्रवासी अखंड कीर्तन के संरक्षक शोभाराम गुलाबवानी ने बताया की पिछले 55 वर्षों से चले आ रहे इस अखंड कीर्तन में हजार दर्शनार्थी दर्शन करने आते हैं मंदिर का डेकोरेशन सूरत के रंग बिरंगे कपड़ों, झंडो व विद्युत सज्जा से सजाया जाता है रोज सायंकाल 108 दीपक से आरती की जाती है। इसी अवसर पर गीता प्रेस की धार्मिक किताबें आधी कीमत में श्रद्धालुओं को दी जाती है तथा रोज अलग-अलग प्रकार के प्रसाद का वितरण किया जाता है समापन के दिन 108 कन्याओं की पूजा ,भोजन प्रसादी एवं हवन का कार्यक्रम किया जाता है कीर्तन में बूंदी निवासी एवं सूरत प्रवासी लोगों का पूरा सहयोग रहता है वे दर्शन हेतु बूंदी आते हैं तथा कीर्तन में तन मन धन से पूरा पूरा सहयोग प्रदान करते हैं इनमें रमेश कटारिया, जेठानंद कटारिया ,पवन कुमार हरचंदानी ,हरीश कुमार टेकवानी, मोरल दासवानी ,चेतन कुमार खत्री ,राजकुमार गंगवानी, ईश्वरलाल तरियानी ,गोविंदराम तरियानी ,गुलाब विशनानी ,लेखराज लालवानी ,मोहन लाल दासयानी ,नौतन गुलाबवानी, महेश जैसवानी एवम नंदलाल बाबानी का विशेष सहयोग मिलता है।
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