बीकानेर। यह सियासी कहानी है बीकानेर के कोलायत विधानसभा क्षेत्र की है। मामला बीजेपी के टिकट का है। पहले मां को टिकट दिया गया, फिर बदल कर बेटे का दे दिया। मांग रहे थे दादा। यही सियासत की सही परिभाषा है।
दरअसल बीजेपी से निष्कासित देवीसिंह भाटी को कुछ ही दिन पहले पार्टी में शामिल किया गया। वो भैराेसिंह शेखावत की सरकार में मंत्री भी रह चुके हैं। पार्टी में आने के बाद उनका भी कोलायत से प्रत्याशी बनाने का दावा था। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
सियासत आगे बढ़ी तो बीजेपी ने अपनी दूसरी सूची में देवी सिंह भाटी की पुत्रवधु पूनम कंवर भाटी को टिकट दे दिया। इसके बाद पार्टी में फिर मंथन हुआ। खुद देवी सिंह भाटी ने भी पुत्रवधु की बजाय अपने पोते को टिकट देने की पैरवी की। पार्टी में मंथन के बाद अंशुमान सिंह भाटी को टिकट दिया गया। लेकिन इससे पहले दादा, पुत्रवधु और पोते नामांकन दाखिल कर दिया था। अब बयान आया है कि दादा व पुत्रवधु दोनों डमी प्रत्याशी होंगे।
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