नई दिल्ली। कांग्रेस-जेडीएस गठबंधन होने के बाद अब बहुमत परीक्षण की बारी है। लेकिन कर्नाटक में तीसरे नंबर की पार्टी के नेता एचडी कुमारस्वामी के लिए मुख्यमंत्री पद संभालना खासा चुनौतीपूर्ण होगा। इसका संकेत अभी से मिलने शुरू हो गये हैं। राज्य के सबसे प्रभावी जातीय वर्ग लिंगायत की ओर से कुमारस्वामी पर अपने वर्ग के प्रतिनिधि को उपमुख्यमंत्री बनाने का दबाव बना दिया गया है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
अखिल भारत वीरशैव लिंगायत महासभा ने मनोनीत मुख्यमंत्री कुमारास्वामी को एक पत्र लिख कर मांग की है कि उसके समुदाय के लोगों को कैबिनेट में अधिक से अधिक जगह दी जाए, साथ ही शमनूर शिवशंकरप्पा को उपमुख्यमंत्री बनाने की मांग की है।
सोमवार को पार्टी हाईकमान से जुड़े सूत्रों से पता चला है नई दिल्ली में सोमवार को कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की अध्यक्षता में कई वरिष्ठ नेताओं ने हिस्सा लिया।
इसके बाद माना जा रहा है कि कांग्रेस और जेडीएस में कुछ विधायकों के नाराज होने के कारण कुमारस्वामी को बहुमत परीक्षण से पहले ही मुख्यमंत्री पद की शपथ दिलाई जा सकती है। पार्टी सूत्रों का कहना है कि कुमारस्वामी के साथ कुछ विधायक भी मंत्री पद की शपथ ले सकते हैं। बैठक में गुलाम नबी आजाद, अशोक गहलोत सहित कई नेता मौजूद थे।
23 मई को जेडीएस नेता एचडी कुमारस्वामी सीएम पद की शपथ लेंगे। सूत्रों के मुताबिक, 33 कैबिनेट वाली इस सरकार में कांग्रेस के 20 और जेडीएस के 13 मंत्रियों को शामिल किया जा सकता है। उधर, मुख्यमंत्री के साथ-साथ वित्त और पीडब्ल्यूडी सहित अहम विभाग जेडीएस अपने पास रखने की तैयारी में है। हालांकि इस बारे में अभी कोई आधिकारिक घोषणा नहीं हुई है। यह कयास जरूर लगाए जा रहे हैं कि राहुल से मुलाकात के बाद कैबिनेट की तस्वीर साफ हो सकती है।
वडोदरा-अहमदाबाद एक्सप्रेसवे पर ओवरलोड कार के ट्रक से टकराने से 10 की मौत
भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा ने चुनाव प्रबंधन समिति की बैठक में लिया चुनावी तैयारियों का जायजा
भारतीय-अमेरिकी छात्रा ने नासा का पावर टू एक्सप्लोर चैलेंज जीता
Daily Horoscope