उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी वीरभद्र जैसे पार्टी के वरिष्ठ
नेताओं को जिस तरह नजरअंदाज करके उनकी इच्छा के विरुद्ध बिना उनसे संपर्क
और बातचीत किए, बाहर के लोगों को टिकट दिया। उससे पार्टी की हालत खुद ही
बयां हो जाती है। उन्होंने कहा कि इससे बड़ा प्रमाण हिमाचल भाजपा के लिया
क्या हो सकता है जब पूर्व मुख्यमंत्री ने प्रदेश सरकार के विकास कार्यों की
तारीफ की।
उन्होंने कहा कि अब खिसियाईं कांग्रेस कमज़ोर बैसाखियों
पर चलकर चुनाव जीतने की कोशिश कर रही है लेकिन कांग्रेस अपने मंसूबे पर
पूरा नहीं उतरेगी क्योंकि भारतीय जनता पार्टी के पास एक ऐसा कुशल और सक्षम
नेतृत्व है, जो पूरी पार्टी को साथ लेकर चलता है तथा कार्यकर्ताओं का मनोबल
बढ़ाता है।
सतपाल सिंह सत्ती ने कहा कि प्रदेश के विकास के लिए न
सिर्फ हिमाचल प्रदेश बल्कि केंद्र सरकार के माध्यम से पहाड़ों को नई
ऊंचाइयों तक ले जाने की लगातार कोशिश कर रहा है। इसी बात से कांग्रेस
विचलित है क्योंकि उन्हें अपना भविष्य धुँधला दिखता नजर आ रहा है। उन्होंने
कहा कि हिमाचल प्रदेश में लोग अब अवसरवादी, परिवारवाद राजनीति और के
नेताओं की राजनीति में दखलअंदाजी को पसंद नहीं कर रहे हैं क्योंकि उनमें
देशहित की अपेक्षा केवल अपने परिवार तक ही सीमित है और अपना स्वार्थ सिद्ध
करने में लगे हुए हैं।
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