मंडी। प्रदूषण की मार सह रही रिवालसर झील में हजारों मछलियों ने आॅक्सीजन की कमी के कारण दम तोड़ चुकी है। शनिवार को भी झील से मरी हुई मछलियों की पांच ट्रालियां निकाली गई। इस त्रासदी का जिम्मेवार भले ही प्रशासन रहा हो फिर भी स्थानीय लोगों ने दिन रात एक करके हजारो मर रही मछलियों को नया जीवनदान दिया। रिवालसर झील से जीपों में भर कर बग्गी नहर में जिंदा मछलियों को छोड़ा गया। स्थानीय जनता के अलावा नगर पंचायत,लोक निर्माण विभाग, सिंचाई एवं जन स्वास्थ्य विभाग,बाबा ध्वजाधारी मंदिर कमेटी,स्वयं सेवी संस्था डब्लमेंट एक्शन ग्रुप, व्यापार मंडल, लोमश टैक्सी यूनियन, बौद्ध गोंपा के सदस्यों सहित गुरद्वारा साहिब, विभिन्न सरकारी विभागों व धार्मिक संस्थाओं के लोगों व कर्मचारियों ने इस कार्य मे सराहनीय भूमिका रही।
रिवालसर की स्वयंसेवी संस्था ने मछलियों को बचाने का सराहनीय कार्य किया। संस्था के प्रधान नरेश शर्मा ने बताया कि भविष्य में इस प्रकार की घटना ना घटे इस के लिए प्रशासन को अब सतर्क हो जाना चाहिए। एनजीटी के द्वारा दिये गए दिशा-निर्देशों को अमल में लाना चाहिए, क्योंकि झील औरर मछलियां ही रिवालसर की पहचान है।
लोकसभा चुनाव 2024: राजस्थान में सुबह 9 बजे तक 10.67% मतदान दर्ज,यहां देखे 14 सीटों में कितना मतदान हुआ
पीएम मोदी ने मतदाताओं से भारी संख्या में मतदान कर नया रिकॉर्ड बनाने की अपील की
आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने नागपुर में किया मतदान, लोगों से की वोट डालने की अपील
Daily Horoscope