हिसार । हरियाणा के राज्यपाल प्रो. कप्तान सिंह सोलंकी ने कहा कि विकास के लिए ज्ञान, समृद्धि और शक्ति का होना जरूरी है और जब राष्ट्र में ये तीनों चीजें मिलकर काम करती हैं, तभी उसका समग्र विकास होता है। यदि विवेक ना हो तो समृद्धि और शक्ति का दुरूपयोग होता है, इसलिए किसी भी देश के विकास के लिए इन तीनों का समावेश जरूरी है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य - शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
यह बात हिसार में उन्होंने भारत विकास परिषद के तत्वावधान में हरियाणा पश्चिम प्रांत आतिथ्य-वीर शाखा हिसार द्वारा उत्तर क्षेत्रीय महिला सम्मेलन विरांजलि के आयोजन में बतौर मुख्य अतिथि कही।
उन्होंने कहा कि जीवन यापन के लिए समृद्धि एवं शक्ति चाहिए लेकिन इनके उचित उपयोग के लिए बुद्धि भी चाहिए। विवेक के अभाव में सोने की लंका भी समृद्ध व शक्तिशाली होने के बावजूद समाप्त हो गई थी, इसलिए विवेक के बिना समृद्धि और शक्ति सम्पूर्ण सम्पन्नता की ओर नहीं ले जा सकती। भारत की संस्कृति के अनुसार मां लक्ष्मी समृद्धि, मां दुर्गा शक्ति और मां सरस्वती ज्ञान एवं विवेक की प्रतीक हैं। इसलिए इन गुणों से परिपूर्ण महिलाओं को जागृत करने ही जरूरत है। महिलाएं आगे बढेंगी, तो देश आगे बढेगा। राष्ट्र के विकास में महिलाओं की अहम भूमिका है और आगे भी रहेगी। उन्होंने कहा कि यह एक गलत धारणा है कि भारत पुरूष प्रधान देश रहा है, जबकि यह भारत ही ऐसा पहला देश है, जिसने आजाद होते ही महिलाओं को वोट का अधिकार दे दिया था, जबकि इंग्लैंड जैसे राष्ट्र जहां पर शुरू से ही मत का अधिकार था, वहां भी महिलाओं को कई वर्षों के बाद ही सन् 1931 के बाद ही वोट का अधिकार दिया। आज हम स्थानीय निकायों में भी महिलाओं का 33 प्रतिशत का आरक्षण दे रहे हैं। कई प्रदेशों में तो यह 50 प्रतिशत तक है।
इससे पूर्व समारोह को सम्बोधित करते हुए हरियाणा की महिला एवं बाल विकास मंत्री श्रीमती कविता जैन ने कहा कि भारतीय संस्कृति में यह कहा गया है कि जहां नारी की पूजा होती है, वहां देवता निवास करते हैं। भारत में महिलाएं प्राचीन काल से पूजनीय रही हैं। जीजाबाई, रानी लक्ष्मीय बाई से लेकर कल्पना चावला, सुषमा स्वराज तथा हमारी पहली रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण जैसी आज की नारी ने भी अपनी क्षमताओं से अपनी काबिलियत का लोहा मनवाया है।
कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए भारत विकास परिषद के राष्ट्रीय महामंत्री अजय दत्ता ने बताया कि पूरे देश में परिषद की 1350 शाखाएं कार्य कर रही है, जिसके साथ 61 हजार से भी अधिक परिवार जुड़े हुए हैं।
इस अवसर पर जीजेयू के कुलपति टंकेश्वर कुमार, एचएयू के कुलपति के.पी सिंह, हरियाणा लोक सेवा आयोग की सदस्य नीता खेड़ा सहित भारत विकास परिषद के हरियाणा के पश्चिमी क्षेत्र के गणमान्य सदस्य उपस्थित थे।
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