चंडीगढ़। हरियाणा के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री ओम प्रकाश धनखड़ के किसानों की बेहतरी के लिए पिछले 4 वर्षों से किए जा रहे प्रयासों को उस समय और अधिक बल मिल गया, जब भारत के राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द ने चौथे कृषि नेतृत्व शिखर सम्मेलन के समापन अवसर पर अपने सम्बोधन में कहा कि हरियाणा देश को कृषि नेतृत्व प्रदान करने की क्षमता रखता है। यही नहीं, जय जवान-जय किसान के नारे को भी सही मायने में हरियाणा प्रांत चरितार्थ कर रहा है, क्योंकि यहां लगभग हर परिवार में एक बेटा किसान तो दूसरा बेटा सेना में जवान बनकर देश की सीमाओं की रक्षा के लिए मुस्तैदी से खड़ा है। ये भी पढ़ें - अपने राज्य / शहर की खबर अख़बार से पहले पढ़ने के लिए क्लिक करे
राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द आज गन्नौर (सोनीपत) की अंतर्राष्ट्रीय फल एवं सब्जी मार्केट में चल रहे चौथे कृषि नेतृत्व शिखर सम्मेलन के समापन अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित किसानों को संबोधित कर रहे थे। राष्ट्रपति ने अपना संबोधन पुलवामा के शहीदों को श्रद्धांजलि देकर शुरू किया और कहा कि कश्मीर की घटना एक कायरतापूर्ण घटना है और पूरा देश उन शहीदों के परिवारों के साथ खड़ा है।
उल्लेखनीय है कि हरियाणा के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री ओमप्रकाश धनखड़ के पिछले चार वर्षों में किसानों की बेहतरी के लिए किए जा रहे प्रयासों के फलस्वरूप हरियाणा के तीन किसानों को न केवल देश का सर्वोच्च नागरिक सम्मान पद्यमश्री प्राप्त हुआ है, बल्कि 25 किसानों को हरियाणा कृषि रत्न पुरस्कार तथा चौधरी चरण सिंह कृषि विश्वविद्यालय को राज्य को पहला हरियाणा कृषि रत्न पुरस्कार देने की घोषणा की गई। विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो डॉ के पी सिंह ने गन्नौर में चल रहे चौथे कृषि नेतृत्व शिखर सम्मेलन के समापन अवसर पर भारत के राष्ट्रपति श्री राम नाथ कोविन्द के हाथों यह पुरस्कार ग्रहण किया। धनखड़ के प्रयासों के फलस्वरूप ही रविवार को हरियाणा का किसान डिजिटल हो गया है और राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद ने आज डिजीटल किसान एप भी लांच किया।
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